संबित पात्रा का दावा- टूलकिट केवल हिंदुस्तान के कुछ राजनीतिक दल चला रहे हैं

भाजपा मुख्यालय में भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा- देश में एक ऐसा सरगना है, जो देश को ही नीचे दिखाने के लिए काम कर रहा है।
संबित पात्रा का दावा- टूलकिट केवल हिंदुस्तान के कुछ राजनीतिक दल चला रहे हैं
संबित पात्रा का दावा- टूलकिट केवल हिंदुस्तान के कुछ राजनीतिक दल चला रहे हैंSyed Dabeer Hussain - RE
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दिल्‍ली, भारत। भाजपा मुख्यालय में भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. संबित पात्रा (Sambit Patra) द्वारा आज शनिवार को नई दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस की।

ये एक तरह की अंतरराष्ट्रीय साजिश है :

भाजपा मुख्यालय में डॉ. संबित पात्रा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा- देश में एक ऐसा सरगना है जो देश को ही नीचे दिखाने के लिए काम कर रहा है, ये एक तरह की अंतरराष्ट्रीय साजिश है। न्यूज क्लिक से संबंधित एक खबर में आपने पढ़ा होगा कि, करोड़ों रुपये विदेशों से संदिग्ध रूप से हिंदुस्तान में आए हैं, और उसका एक ही मकसद है कि, हिंदुस्तान की सरकार को फेल बताना और विदेश की कुछ ताकतों का एजेंडा चलाना।

टूलकिट केवल कुछ राजनीतिक दल चला रहे हैं :

डॉ. संबित पात्रा ने बताया- आज ये जो न्यूज क्लिक के बारे में तथ्य सामने आया है, इससे एक बात स्पष्ट है कि टूलकिट केवल हिंदुस्तान के कुछ राजनीतिक दल चला रहे हैं, ऐसा नहीं है। बल्कि भारत के बाहर भी एक ऐसी साजिश हो रही है, जो इस टूलकिट का हिस्सा है। मीडिया की चादर ओढ़कर पोर्टल चलाने वाले कुछ एक्टिविस्ट हैं, जिनके साथ कुछ विदेशी ताकतें हैं और भारत के कुछ मेन स्ट्रीम के राजनेता भी हैं। इनका एक ग्रुप बना है। पूरे सामंजस्य के साथ ये काम करते हैं, इनका मकसद होता है देश में भ्रम, अराजकता फैलाना।

हमारी वैक्सीन नीति को लेकर पूरे विश्व में सराहना की :

पूरे विश्व में हमारी वैक्सीन नीति को लेकर सराहना की गई, वैक्सीन मैत्री को लेकर सराहना की गई। हमारे देश और हमारी वैक्सीन नीति को बदनाम किया जाए, यह कुचेष्टा कुछ लोगों ने, कुछ संस्थाओं ने और कुछ पोर्टल्स ने की है। ये विदेशी फंडिंग के माध्यम से हो रहा था।

भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. संबित पात्रा

संबित पात्रा ने आगे ये भी कहा कि, ''न्यूज क्लिक में बाहरी ताकतें फंड भेजती थीं। ये पीपीके नाम की कंपनी के अंतर्गत आती है। इन्होंने 9.59 करोड़ रुपये के एफडीआई को स्वीकार किया। इसमें मुख्य रूप से विदेश के 3 लोग सम्मिलित थे। इसके अलावा करीब 30 करोड़ रुपये इन्होंने विदेशों की अलग-अलग एजेंसियों से प्राप्त किया।''

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