हाइलाइट्स :
NCSC अध्यक्ष और सदस्य को महिलाओं ने सुनाई आपबीती।
संदेशखाली हिंसा पर ममता बनर्जी सरकार पर उठ रहे सवाल।
शुक्रवार सुबह 11 बजे राष्ट्रपति को भेजी जाएगी संदेशखाली पर रिपोर्ट।
Sandeshkhali Violence : पश्चिम बंगाल। राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग (NCSC) के अध्यक्ष अरुण हलदर और राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग की सदस्य अंजू बाला ने गुरुवार को संदेशखाली में पीड़ितों से मुलाकात की। NCSC अध्यक्ष और सस्दय ने महिलाओं से बात की उनकी शिकायतें सुनी। NCSC द्वारा शुक्रवार को इस पूरे मामले की रिपोर्ट राष्ट्रपति को सौंपी जाएगी।
राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष अरुण हलदर ने कहा कि, मुझे संदेशखाली के बारे में रिपोर्ट मिली है। बहुत से लोग बहुत कुछ कहना चाहते थे लेकिन उन्हें मौका नहीं दिया गया। आयोग के सदस्य और मैं यहां उन्हें सुनने आए हैं। मैं उनकी बात सुनूंगा और सरकार को रिपोर्ट दूंगा। यह एक संवैधानिक संस्था है, राजनीतिक संस्था नहीं...कल (शुक्रवार) सुबह 11 बजे राष्ट्रपति को रिपोर्ट भेजी जाएगी।
पीड़ितों से मिलने आई NCSC की सदस्य अंजू बाला ने कहा, "सीएम ममता बनर्जी कुछ भी खुलासा नहीं करना चाहतीं, वह महिलाओं पर अत्याचार की एफआईआर दर्ज नहीं करतीं...देश उन्हें माफ नहीं करेगा। हम चाहते हैं कि, संदेशखाली में राष्ट्रपति शासन लगाया जाएगा क्योंकि यहां लोग बिल्कुल भी सुरक्षित नहीं हैं।"
उत्तर 24 परगना जिले में संदेशखाली में महिलाओं ने टीएमसी नेता शाहजहां शेख और उसके समर्थकों पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था। शाहजहां शेख अभी फरार है। संदेशखाली में हाल ही में टीएमसी नेता शेख शाहजहां के विरोध में बड़ी संख्या में महिलाओं ने सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन किया था। महिलाओं ने शेख शाहजहां और उनके सहयोगियों पर जबरन अपनी जमीनें हड़पने और यौन उत्पीड़न करने का आरोप लगाया था।
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