UCC विधेयक पर बाेले CM पुष्‍कर- जो विधेयक हम लाए वो एक सामान्य विधेयक नहीं भारत की ’’एकात्मता’’ का सूत्र है
UCC विधेयक पर बाेले CM पुष्‍कर- जो विधेयक हम लाए वो एक सामान्य विधेयक नहीं भारत की ’’एकात्मता’’ का सूत्र हैRaj Express

UCC विधेयक पर बाेले CM पुष्‍कर- जो विधेयक हम लाए वो एक सामान्य विधेयक नहीं भारत की ’’एकात्मता’’ का सूत्र है

उत्तराखंड विधानसभा सत्र के दौरान UCC विधेयक के संबंध में आज मुख्‍यमंत्री पुष्‍कर सिंह धामी ने सत्र को संबोधित कर अपने संबोधन में कही ये बातें...
Published on

हाइलाइट्स :

  • UCC विधेयक के संबंध में CM पुष्‍कर सिंह धामी ने सत्र को संबोधित किया

  • CM पुष्‍कर

Uttarakhand Assembly Session 2024: उत्तराखंड विधानसभा सत्र के दौरान UCC विधेयक के संबंध में प्रदेश के मुख्‍यमंत्री पुष्‍कर सिंह धामी ने सत्र को संबोधित किया। इस मौके पर उन्‍होंने अपने संबोधन में कहा, आज मैं आप सभी के समक्ष एक ऐतिहासिक विधेयक पर अपने विचार रखने के लिए उपस्थित हुआ हूं। सर्वप्रथम मैं, इस महत्वपूर्ण विधेयक पर हुई चर्चा में भाग लेने वाले सभी सदस्यों को धन्यवाद देता हूं।

उत्तराखंड के मुख्‍यमंत्री पुष्‍कर सिंह धामी ने कहा- मेरा मानना है कि जो विधेयक हम लेकर आएं हैं वो एक सामान्य विधेयक नहीं है बल्कि भारत की ’’एकात्मता’’ का सूत्र है। हमारे संविधान शिल्पियों ने जिस अवधारणा की परिकल्पना की थी, देवभूमि उत्तराखंड से आज वही अवधारणा साकार रूप लेने जा रही है। मैं आज इस अवसर पर सभी प्रदेशवासियों को बधाई देना चाहता हूँ, क्योंकि आज हमारे उत्तराखंड की विधायिका एक इतिहास रचने जा रही है। आज इस ऐतिहासिक क्षण का साक्षी बनते हुए, न केवल इस सदन को बल्कि उत्तराखंड के प्रत्येक नागरिक को गर्व की अनुभूति हो रही है।

हमारी सरकार ने आदरणीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के ’’एक भारत और श्रेष्ठ भारत’’ मंत्र को साकार करने के लिए उत्तराखण्ड में समान नागरिक संहिता लाने का वादा किया था। प्रदेश की देवतुल्य जनता ने हमें इस उद्देश्य की पूर्ति के लिए अपना आशीर्वाद देकर पुनः सरकार बनाने का मौका दिया। सरकार गठन के तुरंत बाद, पहली कैबिनेट की बैठक में ही समान नागरिक संहिता बनाने के लिए एक विशेषज्ञ समिति का गठन किया।

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी

  • उच्चतम न्यायालय की सेवानिवृत्त न्यायाधीश श्रीमती रंजना प्रकाश देसाई जी के नेतृत्व में पांच सदस्यीय समिति गठित की गई, देश के सीमांत गांव माणा से प्रारंभ हुई यह जनसंवाद यात्रा करीब नौ माह बाद 43 जनसंवाद कार्यक्रम करके नई दिल्ली में पूर्ण हुई। 2 लाख 32 हजार से अधिक सुझाव प्राप्त हुए। प्रदेश के लगभग 10 प्रतिशत परिवारों द्वारा किसी कानून के निर्माण के लिए अपने सुझाव दिए। हमारे प्रदेश की देवतुल्य जनता की जागरूकता का प्रत्यक्ष प्रमाण है।

  • जिस प्रकार से इस देवभूमि से निकलने वाली मां गंगा अपने किनारे बसे सभी प्राणियों को बिना भेदभाव के अभिसिंचित करती है, इस सदन से निकलने वाली समान अधिकारों की ये गंगा हमारे सभी नागरिकों के संवैधानिक अधिकारों को सुनिश्चित करेगी।

  • हम हमेशा से कहते आएं हैं कि 'अनेकता में एकता, यही भारत की विशेषता’, यह बिल उसी एकता की बात करता है, जिस एकता का नारा हम वर्षों से लगाते आएं हैं। आज हम आजादी के अमृतकाल में हैं और हम सभी का यह कर्तव्य है कि हम एक समरस समाज का निर्माण करें, जहां पर संवैधानिक प्रावधान, सभी के लिए समान हों।

ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।

logo
Raj Express | Top Hindi News, Trending, Latest Viral News, Breaking News
www.rajexpress.com