BJP नेता के बेटे Vinayak Bakale ने अपने ही परिवार की दी सुपारी, 4 लोगों की मौत

कर्नाटक में भाजपा नेता के परिवार के 4 लोगों की हत्या मामले में गडग पुलिस ने जांच में पाया की भाजपा नेता के बेटे Vinayak Bakale ने ही परिवार की सुपारी दी थी।
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हाइलाइट्स :

  • भाजपा नेता के बेटे Vinayak Bakale ने अपने ही परिवार की दी "सुपारी"

  • अपने भाई समेत 4 रिश्तेदारों का कराया क़त्ल

  • संपत्ति विवाद के कारण Vinayak Bakale ने बनाया अपने ही परिवार को खत्म करने का प्लान

गडग-बेटागेरी, कर्नाटक। कर्नाटक के गडग-बेटागेरी शहर की पुलिस ने 19 अप्रैल को हुए भाजपा नेता प्रकाश बकाले के परिवार के 4 सदस्यों के हत्याकांड के पीछे के रहस्य को सुलझा लिया है। पुलिस ने भाजपा नेता के बेटे विनायक बकाले (Vinayak Bakale) को अपने पिता प्रकाश बकाले, पिता की दूसरी पत्नी सुनंदा बकाले (भाजपा पदाधिकारी) और उनके बेटे कार्तिक की हत्या की साजिश रचने के आरोप में गिरफ्तार किया है। पुलिस ने विनायक सहित 8 लोगों को गिरफ्तार किया है जिन्होंने विनायक बकाले का इस हत्या में साथ दिया था।

बताया जा रहा है कि भाजपा नेता दंपत्ति प्रकाश बकाले और उनकी पत्नी सुनंदा बकाले भाग निकले क्योंकि वे अलग कमरे में सो रहे थे। लेकिन उनके बेटे कार्तिक और 3 अन्य रिश्तेदारों की किलर्स ने हत्या कर दी। मरने वालो के नाम कार्तिक (27), परशुराम हादिमानी (55), लक्ष्मी हादिमानी (45) और आकांक्षा हादिमानी (16) है। कार्तिक भाजपा नेता प्रकाश बकाले और सुनंदा बकाले के बेटे थे, जो गडग-बेटागेरी सिटी नगर परिषद के उपाध्यक्ष हैं।पुलिस सूत्रों ने बताया कि कार्तिक की शादी तय हो गई थी, जिसमें शामिल होने के लिए हदिमानिस आए थे।

आठ आरोपी गिरफ्तार :

पुलिस महानिरीक्षक विकास कुमार ने बताया कि उन्होंने गडग से विनायक प्रकाश बकाले (Vinayak Bakale) , फ़िरोज़ खाज़ी (29), जिशान खाज़ी (24) को गिरफ्तार किया है; जुड़वां भाई साहिल अशफाक खाजी (19), सोहेल अशफाक खाजी (19), सुल्तान जिलानी शेख (23), महेश जगन्नाथ सालुंके (21) और वहीद लियाकत बेपारी (21) को महाराष्ट्र के सांगली से गिरफ्तार किया है।

क्या है हत्या के पीछे की वजह :

पुलिस के अनुसार, घटना से छह महीने पहले, विनायक कथित तौर पर अपने पिता के साथ संपत्ति विवाद में उलझ गया था, जिससे उनके बीच तनाव पैदा हो गया था। प्रकाश बकाले ने विनायक को उसकी सहमति के बिना कोई भी संपत्ति बेचने के प्रति आगाह किया था। आरोप है कि विनायक बकाले ने फ़िरोज़ काज़ी से आग्रह किया, 65 लाख रुपये की डील पर बातचीत की और योजना को अंजाम देने के लिए 2 लाख रुपये का प्रारंभिक भुगतान किया। निशाने पर नगर परिषद के पूर्व अध्यक्ष प्रकाश बकाले और वर्तमान उपाध्यक्ष सुनंदा बकाले के रूप में पहचान की गई, जिन्हें जहरीली सुपारी दी गई थी।

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