वेंकटरमन की पुण्यतिथि पर सीएम शिवराज ने किया सादर नमन
वेंकटरमन की पुण्यतिथि पर सीएम शिवराज ने किया सादर नमनSocial Media

भारत रत्न डॉ. चन्द्रशेखर वेंकट रामन की पुण्यतिथि पर सीएम शिवराज ने किया सादर नमन

भोपाल, मध्यप्रदेश। आज डॉ. चन्द्रशेखर वेंकट रामन की पुण्यतिथि है, मुख्यमंत्री ने भौतिक विज्ञान के क्षेत्र में भारत के पहले नोबेल पुरस्कार विजेता, भारत रत्न वेंकट रामन की पुण्यतिथि पर नमन किया है।
Published on

भोपाल, मध्यप्रदेश। आज डॉ. चन्द्रशेखर वेंकट रामन की पुण्यतिथि है। डॉ. चंद्रशेखर वेंकट रामन का निधन आज ही के दिन 21 नवम्बर 1970 को हुआ था। रमन पहले व्यक्ति थे जिन्होंने वैज्ञानिक संसार में भारत को ख्याति दिलाई। प्राचीन भारत में विज्ञान की उपलब्धियां थीं। डॉ. चन्द्रशेखर वेंकट रामन की पुण्यतिथि पर मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट कर सादर नमन किया है।

सीएम शिवराज ने किया ट्वीट

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट कर कहा- भौतिक विज्ञान के क्षेत्र में भारत के पहले नोबेल पुरस्कार विजेता, भारत रत्न डॉ.चन्द्रशेखर वेंकट रामन जी की पुण्यतिथि पर सादर नमन। प्रकाश के प्रकीर्णन व रमन प्रभाव जैसी अद्वितीय खोज कर आपने विश्व में भारत का गौरव बढ़ाया है। विज्ञान के क्षेत्र में दिया आपका योगदान अविस्मरणीय है

विज्ञान की सेवा के माध्यम से भारत को विश्वभर में अतुलनीय सम्मान दिलाने वाले अपने रत्न पर देश को सदैव गर्व रहेगा।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान

नरोत्तम मिश्रा ने भी किया ट्वीट

गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने ट्वीट कर कहा- प्रकाश के प्रकीर्णन व रमन प्रभाव की खोज से विश्वभर में भारत के गौरव को बढ़ाने वाले नोबेल पुरस्कार से सम्मानित प्रसिद्ध भौतिक शास्त्री भारत रत्न सीवी रमन जी की पुण्यतिथि पर विनम्र श्रद्धांजलि, विज्ञान के क्षेत्र में आपके महत्वपूर्ण योगदान को हमेशा याद किया जाएगा।

आपको बताते चलें कि, चंद्रशेखर वेंकट रामन का जन्म तिरुचिरापल्ली, तमिलनाडु में 7 नवम्बर 1888 को हुआ था और उनकी मृत्यु कर्नाटक के बेंगलुरू में 21 नवम्बर, 1970 को हुई थी। उनके माता-पिता का नाम चंद्रशेखर अय्यर और पार्वती अम्माल था। पत्नी का नाम त्रिलोकसुंदरी था। भारत रत्न प्राप्त महान वैज्ञानिक प्रोफेसर सी.वी. रमन (चंद्रशेखर वेंकटरमन) ने सन् 1928 में कोलकाता में 28 फरवरी के दिन एक उत्कृष्ट वैज्ञानिक खोज की थी, जो ‘रमन प्रभाव’ के रूप में प्रसिद्ध है। महान वैज्ञानिक सी.वी. रमण की यह खोज 28 फरवरी 1930 को प्रकाश में आई थी। इस कार्य के लिए उनको 1930 में नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। सीवी रमन ने इसकी खोज इंडियन एसोसिएशन फॉर द कल्टिवेशन ऑफ साइंस, कोलकाता की प्रयोगशाला में काम करने के दौरान की थी।

ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।

logo
Raj Express | Top Hindi News, Trending, Latest Viral News, Breaking News
www.rajexpress.com