Dussehra Celebration 2023
Dussehra Celebration 2023 RE- Bhopal

Dussehra Celebration 2023 : रावण दहन के साथ होते हैं ये कार्यक्रम, भोपाल में हुई शस्त्र पूजा

Dussehra Celebration 2023 : इस दिन रावण दहन, शस्त्र पूजन, राजघराने में गद्दी पूजन का कार्यक्रम किया जाता है। इसके साथ ही दशहरा मे नीलकंठ पंछी का दर्शन करना शुभ माना जाता है।
Published on

हाइलाइट्स

  • दशहरा में नीलकंठ पंछी का दर्शन करना होता है शुभ।

  • दशहरा में रावण दहन के साथ शस्त्र और वाहन पूजा का भी महत्त्व।

  • भोपाल के नेहरू पुलिस लाइन में पुलिसकर्मियों द्वारा शस्त्र और वाहन पूजन किया।

Dussehra Celebration 2023 : भोपाल, मध्यप्रदेश। दशहरा के अवसर पर भोपाल के नेहरू पुलिस लाइन में पुलिसकर्मियों द्वारा शस्त्र और वाहन पूजन किया गया, जिसमें एडीजी, एसएसपी समेत सभी पुलिस कर्मियों ने शिरकत की। इस दिन रावण दहन, शस्त्र पूजन, राजघराने में गद्दी पूजन का कार्यक्रम किया जाता है। इसके साथ ही दशहरा मे नीलकंठ पंछी का दर्शन करना शुभ माना जाता है।

दशहरे का महत्त्व :

भगवान राम ने दशहरे के दिन लंकापति रावण का वध किया था, इसके साथ ही देवी दुर्गा ने नौ रात्रि एवं दस दिन के युद्ध के उपरान्त महिषासुर पर विजय प्राप्त की थी। तब से दशहरे को असत्य पर सत्य की विजय के रूप में मनाया जाने लगा। यह त्यौहार दशवीं के दिन मनाया जाता है, इसीलिये इस दशवीं को 'विजयादशमी' के नाम से भी जाना जाता है।

शस्त्र पूजन

दशहरे में शस्त्र-पूजन का कार्यक्रम कई वर्षों से चला आ रहा है। इस दिन पुलिस विभाग जैसे सरकारी विभागों मे भी शस्त्र पूजन का कार्यक्रम किया जाता है। पुलिस लाइन में हर बार की तरह इस बार भी दशहरे के दिन शस्त्र पूजन की गई। इस दौरान एडीजी डी. श्रीनिवास वर्मा, एसएसपी राजेश सिंह चंदेल सहित सभी पुलिस अधिकारी उपस्थित रहें।

रावण दहन

दशहरा के दिन मर्यादा पुरुषोत्तम राम ने लंकापति रावण का वध कर विजय हासिल की थी। रावण के बध के बाद से हर वर्ष रावण दहन किया जाता है। इस दिन को बुराई पर अच्छाई का प्रतीक माना जाता है। शहर मे कई रावण जलाए जाते हैं। राजधानी भोपाल मे ही लगभग 250 की संख्या मे रावण जलाए जा रहे हैं।

Dussehra Celebration 2023
Dussehra 2023 : MP का सबसे बड़ा रावण भोपाल में जलेगा, कोलार में 105 और मिनाल रेसीडेंसी में 51 फीट का होगा पुतला

सिंहासन पूजन

दशहरा राजघराने का प्रमुख त्यौहार माना जाता है। इस दिन राजघराने के राजपरिवार द्वारा सिंहासन पूजन का कार्यक्रम किया जाता है। इसके बाद राजा रथ मे सबार होकर भ्रमण के लिए निकलते हैं, जिसे देखने के लिए काफी भीड़ उमड़ती है।

नीलकंठ दर्शन

माना जाता है कि दशहरे के दिन जब मर्यादा पुरूषोत्तम श्रीराम रावण का वध करने जा रहे थे, उसी दौरान उन्हें नीलकंठ के दर्शन हुए थे। इसके बाद श्रीराम को विजय मिली थी। यही वजह है कि, नीलकंठ का दिखना शुभ माना गया है। आज के दिन नीलकंठ के दर्शन को आमजन आतुर रहते हैं।

ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।

logo
Raj Express | Top Hindi News, Trending, Latest Viral News, Breaking News
www.rajexpress.com