हाइलाइट्स :
उज्जैन लोकसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी हैं महेश परमार।
महेश परमार ने सरकार और प्रशासन पर उठाए सवाल।
Shipra नदी में मिल रहा नाले का पानी : मध्य प्रदेश। जिस नदी के दर्शन कर लेने भर से पाप और दुःख समाप्त हो जाते हों वो नदी आज खुद प्रदूषण का शिकार है। 500 करोड़ रुपए खर्च करने के बाद भी कोई परिणाम सामने नहीं आया। यह बात उज्जैन लोकसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी महेश परमार ने कही है। शिप्रा नदी में नाले के गंदे पानी के मिलने का विरोध करते हुए महेश परमार ने नाले के पानी में डुबकी लगाई।
उज्जैन लोकसभा सीट से कांग्रेस उम्मीदवार महेश परमार ने कहा, "पिछले 20 साल से मध्य प्रदेश में और 10 साल से देश में भाजपा की सरकार है। लगातार सालों से इनके सांसद, विधायक और महापौर हैं। भाजपा और शासन प्रशासन के लोग हमें कलंकित कर रहे हैं। 500 करोड़ खर्च करने के बाद भी ये स्थिति है फिर से 600 करोड़ का नया बजट आया है। हमारे भाजपा के सांसद पिछले 5 साल में यहां एक बार भी नहीं आए हैं। धर्म के नाम पर राजनीति करने वाले लोग कहां हैं? 40-50 लाख इंदौर वासियों का मल मूत्र रोज नदी में मिलता है।"
महेश परमार ने कहा, 'सौभग्य से मुख्यमंत्री हमारे क्षेत्र से हैं लेकिन उन्होंने शिप्रा नदी के लिए क्या किया? यह कांग्रेस - भाजपा की बात नहीं है लेकिन सनातन को मानने वाले, उज्जैन से प्रेम करने वाले बाबा महाकाल के भक्त ये कैसे सह सकते हैं। यहां महाकुम्भ होता है लेकिन नाले का गन्दा पानी मां शिप्रा में मिल रहा है। मां शिप्रा के लिए अगर हम सबने मिलकर नहीं लड़ाई की तो हमने कभी माफ़ नहीं किया जाएगा। लोग बाहर से यहां स्नान करने आते हैं लेकिन जब ऐसे नाले का पानी शिप्रा नदी में मिलता देखेंगे तो क्या तस्वीर लेकर जायेंगे वे उज्जैन की। यह भी हमें सोचना चाहिए।'
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