शिवराज सिंह की पत्नी के मानहानि मामले में कांग्रेस नेता अजय सिंह को अदालत उठने तक की सजा
भोपाल, मध्यप्रदेश। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अजय सिंह को सीएम शिवराज सिंह चौहान की पत्नी साधना सिंह चौहान के मानहानि के मामले में एमपीएमएलए के मामलों की सुनवाई के लिए गठित विशेष अदालत के न्यायिक मजिस्ट्रेट विधान माहेश्वरी की अदालत ने दोषी ठहराते हुए अदालत उठने तक की सजा और 10 हजार रुपए के जुर्माने की सजा सुनाई है। मजिस्ट्रेट ने अजय सिंह को शिवराज सिंह की मानहानि का आरोप प्रमाणित न पाए जाने पर उन्हें दोषमुक्त कर दिया। मजिस्ट्रेट ने अजय सिंह को साधना सिंह चौहान को क्षतिपूर्ति के रुप में 10हजार रुपए दिए जाने के आदेश भी दिए हैं। अदालत में अजय सिंह की ओर से आवेदन पेश कर उनकी सजा को स्थगित किए जाने की प्रार्थना की गई थी। मजिस्ट्रेट ने आवेदन स्वीकार कर पन्द्रह हजार की जमानत पेश किए जाने पर सजा को एक माह के लिए स्थगित कर दिया। अदालत में अजय सिंह की ओर से साजिद अली , संजय गुप्ता और विनीत गोधा अधिवक्तागण तथा शिवराज सिंह चौहान और साधना सिंह की ओर से दीपेश जोशी उपस्थित थे।
यह है मामला :
9 मई 2013 को सागर में आयोजित जनक्रांति जनसभा को संबोधित करते हुए तत्कालीन नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह ने साधना सिंह पर कई आपत्तिजनक बयान दिये थे। साधना सिंह और शिवराज सिंह चौहान दंपति का आरोप है कि अजय सिंह ने ये आरोप सिर्फ वोट बैंक को आकर्षित करने के लिए लगाये थे। इसके बाद 4 जून 2013 को खरगौन में भी अजय सिंह ने आपत्तिजनक बयान देते हुए कहा था कि सीएम हाउस में नोट गिनने की मशीन लगी हुई है। शिवराज सिंह चौहान और उनकी पत्नी श्रीमती साधना सिंह चौहान ने अजय सिंह के खिलाफ अदालत में एक करोड़ रुपए की मानहानि का मुकदमा दायर किया था। जिला अदालत ने 10 अक्टूबर 2013 को अजय सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था। अजय सिंह ने 16 जुलाई 2014 को मामले पर जमानत भी कराई। इसके खिलाफ पुनरीक्षण याचिका दायर की गई, जिसके 16 जुलाई 2016 को खारिज होने पर हाईकोर्ट में अपील की गई । 25 जुलाई 2016 को अजय सिंह के खिलाफ जिला अदालत ने आरोप तय किए थे।
शिवराज सिंह चौहान और उनकी पत्नी श्रीमती साधना सिंह चौहान ने 20 सितंबर 2017 को अदालत में उपस्थित होकर अपने बयान दर्ज कराए थे। अपने बयान में शिवराज सिंह चौहान ने कहा था कि 9 मई 2013 को सागर में आयोजित जनक्रांति जनसभा को संबोधित करते हुए नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह ने आपत्तिजनक बयान दिये थे। 9 मई 2013 की रात जब मैं दौरे से वापस घर लौटा तो मुझे कई लोगों के सागर से फोन आए थे। घर पर पत्नी साधना भी व्यथित थी और उन्होंने मुझे बताया था कि सिंह ने उन पर अनर्गल आरोप लगाए है। दूसरे दिन समाचार पत्रों में यह खबर इस शीर्षक के साथ प्रकाशित हुई थी कि साधना भाभी के यहां मशीन में नोट गिने जा रहें हैं। इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में भी यह समाचार दिखाया गया था। इससे मेरा मन बहुत व्यथित हुआ। 9 मई 2013 की रात मेरी पत्नी ठीक से सोई नहीं थी। जनसंपर्क विभाग ने भी नेता प्रतिपक्ष द्वारा सागर में कही गई बात की पुष्टि की थी। 4 जून 2013 को खरगोन की एक सभा में अजय सिंह ने फिर कहा था कि साधना सिंह की असली पहचान बताईये। साधना सिंह को सीएम नोट गिनने की मशीन के रूप में लेकर आये है। सीएम ने कहा था कि अजय सिंह द्वारा सागर और खरगौन में जनता को संबोधित कर उनके परिवार के खिलाफ जो अनर्गल बातें कही थी उससे उनका पूरा परिवार काफी आहत हुआ था। उन्हें अपनी छवि सुधारने के लिए जनता के बीच जाना पड़ा था। तब जनता ने उन्हें दूसरी बार मुखयमंत्री चुना है। सीएम की पत्नी साधना सिंह ने भी इस मामले में अपने बयान दर्ज कराए थे। उन्होंनें कहा था कि मैं कांग्रेस नेता अजय सिंह को जानती हूं। वे नेता प्रतिपक्ष भी है। मैं घरेलू महिला हूं और समाजसेवा का काम करती हूं। अजय सिंह ने 9 मई 2013 को सागर की घटना के बाद 4 जून 2013 को खरगोन की एक सभा में अजय सिंह ने फिर कहा कि साधना सिंह की असली पहचान बताईये। साधना सिंह को मुखयमंत्री नोट गिनने की मशीन के रूप में लेकर आये है। इसके बाद रिश्तेदारों और समाज के अन्य लोगों ने मुझसे इस संबंध में बातचीत की पूछा कि यह सब क्या हो रहा है। लोग मुझे संदेह की दृष्टि से देखने लगे और मैं डिप्रेशन में चली गई। मेरे पति और मेरी छवि धूमिल करने के लिए हमने अजय सिंह के खिलाफ मानहानि का मामला लगाया था। मुझे लगा यदि न्यायालय जाकर न्याय नहीं मांगा तो ऐसे झूठे आरोप लगाए जाते रहेंगे। इसको सजा दिलवाकर रोकना उचित होगा।
ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।