जूनियर डॉक्टर सरस्वती आत्महत्या मामले में कॉलेज प्रशासन ने लिया एक्शन, हटाई गई प्रसूति विभाग की HOD
हाइलाइट्स :
हटाई गई गायनी विभाग की एचओडी।
जूनियर डॉकर्स की हड़ताल के बाद की गई कार्रवाई।
सरस्वती की मौत के 2 दिन बाद की गई कार्रवाई।
Gandhi Medical College Bhopal: भोपाल, मध्यप्रदेश। गाँधी मेडिकल कॉलेज की जूनियर डॉक्टर बाला सरस्वती आत्महत्या मामले में कॉलेज प्रशासन ने स्त्री रोग और प्रसूति विभाग की HOD डॉ. अरुणा कुमार पर कार्रवाई करते हुए उन्हें पद से हटा दिया है। डॉ. अरुणा की जगह अब डॉ. भारती को स्त्री रोग और प्रसूति विभाग का HOD बनाया गया है। जूनियर डॉक्टर्स की हड़ताल के बाद यह फैसला लिया गया है।
हालांकि डॉक्टर अरुणा को एचओडी के पद से हटा दिया है लेकिन जूनियर डॉक्टर्स की मांग है कि, जांच पूरी होने तक डॉ. अरुणा को विभाग में आने की अनुमति न दी जाए। जब तक यह मांग पूरी नहीं हो जाती जूनियर डॉक्टर्स का कहना कि उनकी हड़ताल जारी रहेगी।
इन मांगों को लेकर की थी हड़ताल :
जूनियर डॉक्टर्स ने बुधवार को हड़ताल की थी इन डॉक्टर्स की मांग थी कि, प्रसूति एवं स्त्री रोग विभाग की HOD तत्काल अपने पद से इस्तीफ़ा दे। इनके खिलाफ जांच की जाए और जांच पूरी होने तक पद से निलंबित रखा जाए। कॉलेज में अच्छे वातावरण के लिए तत्काल कदम उठाये जाए ताकि दोबारा सुसाइड जैसी घटना न हो। सीट छोड़ने वाले बॉन्ड को ख़त्म किया जाए। इनमें से HOD को पद से हटाने को लेकर की गई मांग को मान लिया गया है।
भोपाल के गाँधी मेडिकल कॉलेज में गायनी में पोस्ट ग्रेजुएशन करने वाली जूनियर डॉक्टर सरस्वती ने सुसाइड कर ली थी। जूनियर डॉक्टर सरस्वती ने बेहोशी की दवा का ओवरडोज़ लिया था जिसके बाद उनकी मौत हो गई। सरस्वती 14 हफ्ते की गर्भवती थीं। पुलिस ने बताय कि सरस्वती के पति UPSC की तैयारी कर रहें हैं। सरस्वती मूलतः आंध्रप्रदेश की थी। सरस्वती के परिजनों ने कॉलेज प्रशासन पर प्रताड़ना का आरोप लगाया था। कॉलेज के डीन ने परिजनों को कार्रवाई का आश्वासन दिया था।
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