भारत का पहला निजी रॉकेट मिशन : आज से शुरू हो सकती है उल्टी गिनती
चेन्नई। भारत के पहले निजी तौर पर विकसित रॉकेट विक्रम-एस के प्रक्षेपण की उल्टी गिनती गुरुवार को श्रीहरिकोटा के अन्तरिक्ष तट से शुरू हो सकती है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक रॉकेट को 18 नवंबर को पूर्वाह्न 11.30 बजे प्रक्षेपित किया जाएगा। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने पहले 12 नवंबर से 16 नवंबर के मिशन के लिए हैदराबाद स्थित स्काईरूट एयरोस्पेस (भारत के निजी क्षेत्र के रॉकेट निर्माता और प्रमुख स्पेसटेक स्टार्टअप) को विक्रम-एस के साथ शार रेंज से तीन पेलोड ले जाने के लिए लॉन्च विंडो दी थी। लेकिन मौसम खराब होने के पूर्वानुमान के कारण, इसरो ने विक्रम-एस रॉकेट के प्रक्षेपण के लिए 15 नवंबर से 19 नवंबर तक एक नई लॉन्च विंडो दी, जिसका नाम 'प्रारंभ' है जिसका अर्थ श्रीहरिकोटा के स्पेसपोर्ट से "शुरुआत" होता है। इसके प्रक्षेपण की तारीख 18 नवंबर तय की गई है।
स्काईरूट ने एक ट्वीट में कहा, "यह रहा! श्रीहरिकोटा के रॉकेट एकीकरण सुविधा में हमारे विक्रम-एस की एक झलक देखें, क्योंकि यह महत्वपूर्ण दिन के लिए तैयार हो रहा है। "मौसम 18 नवंबर को पूर्वाह्न 11:30 को प्रक्षेपण करने के लिए बहुत अच्छा लगता है।" स्काईरूट एयरोस्पेस के मुख्य परिचालन अधिकारी (सीओओ ) एवं सह-संस्थापक नागा भरत डाका ने कहा, "विक्रम-एस एक सिंगल-स्टेज सब-ऑर्बिटल लॉन्च व्हीकल है जो तीन ग्राहक पेलोड ले जाएगा और अंतरिक्ष प्रक्षेपण वाहनों की विक्रम श्रृंखला में अधिकांश तकनीकों का परीक्षण और सत्यापन करने में मदद करेगा।" उन्होंने कहा, "हम इसे प्रक्षेपित करने के लिए श्रीहरिकोटा में इसरो के स्पेसपोर्ट में विश्व स्तरीय लॉन्च इंफ्रास्ट्रक्चर का उपयोग कर रहे हैं।" 'प्रारंभ' नाम का मिशन, जिसका अर्थ है 'शुरुआत', भारत में निजी अंतरिक्ष क्षेत्र के लिए एक नए युग का प्रतीक और स्काईरूट के लिए पहला मिशन है। इसका कुछ दिन पहले बेंगलुरु में इसरो के अध्यक्ष डॉ. एस. सोमनाथ ने अंतरिक्ष नियामक इन-स्पेस से तकनीकी लॉन्च क्लीयरेंस प्राप्त करने के बाद अनावरण किया गया था।
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