कोरोना से माता-पिता खोने वाले इंजीनियरिंग के विद्यार्थियों को मिलेगी स्कॉलरशिप
इंदौर, मध्यप्रदेश। कोविड के कारण अपने पैरेंट्स को खोने वाले देश के तकनीकी संस्थानों में पढ़ने वाले स्टूडेंट्स के लिए राहत की खबर है। एआईसीटीई ने नई शिक्षा नीति के तहत उन्हें सालाना 50 हजार रुपए की स्कॉलरशिप देने की घोषणा की है। सरहदों की रक्षा करते शहीद होने वाले जवानों के बच्चे भी इसके लिए पात्र होंगे। इसके लिए उन्हें 30 नवंबर तक ऑनलाइन आवेदन भरना होगा।
जानकारी के अनुसार शैक्षणिक सत्र 2021-22 से स्वानाथ स्कॉलरशिप देने की योजना तैयार की गई है। एआईसीटीई से मान्यता प्राप्त तकनीकी कॉलेजों में पढ़ने वाले स्टूडेंट्स इस योजना के लाभ के हकदार हैं। इसका मकसद कोरोना काल में परिजनों को खोने वाले स्टूडेंट्स को तकनीकी उच्च शिक्षा में आगे बढ़ाना है। देश की सीमाओं की रक्षा के दौरान शहादत पाने वाले सैनिकों के बच्चे भी इसके पात्र होंगे। कोरोना काल में कई स्टूडेंट्स ने अपने माता-पिता दोनों को खो दिया है। ऐसे में उनकी पढ़ाई बीच में छूटने की आशंका है। इस स्कॉलरशिप से वे पढ़ाई जारी रख सकेंगे।
इंजीनियरिंग संस्थानों में मिलेगा अंतरिम प्रवेश :
एआईसीटीई ने सीबीएसई की प्राइवेट, पत्राचार और कंपार्टमेंट व इम्प्रूवमेंट एक्जाम दे रहे स्टूडेंट्स को राहत दी है। एआईसीटीई ने इंजीनियरिंग शिक्षा संस्थानों को निर्देशित किया है कि वे सीबीएसई परीक्षा में भाग लेने वाले ऐसे स्टूडेंट्स जिनका रिजल्ट अभी जारी नहीं हो पाया है, उन्हें उनकी संयुक्त प्रवेश परीक्षा यानी जेईई की रैंक के आधार पर अंतरिम प्रवेश दें। हालांकि स्टूडेंट्स को एक वचनबद्धता पर हस्ताक्षर करना होगा कि वे परिणाम घोषित होने के एक सप्ताह के अंदर अपने कक्षा 12वीं की अंक तालिका जमा करेंगे। जानकारी के अनुसार यह प्रावधान केवल उन एडमिशन के लिए लागू है जो राष्ट्रीय स्तर की प्रवेश परीक्षाओं जैसे जेईई या राज्य स्तरीय प्रवेश परीक्षा में स्टूडेंट्स के प्रदर्शन के आधार पर किए जा रहे हैं। जानकारी के अनुसार इससे स्टूडेंट्स का एक साल खराब होने से बच सकेगा और वे समय पर पसंदीदा संस्थान में एडमिशन भी ले पाएंगे। एआईसीटीई ने स्पष्ट किया है कि जिन स्टूडेंट्स के 12वीं के रिजल्ट घोषित नहीं हुए है, उन्हें संस्थानों को प्रवेश देने से इनकार नहीं करना चाहिए। इन स्टूडेंट्स में सीबीएसई निजी श्रेणी के उम्मीदवार, पत्राचार और कंपार्टमेंट के स्टूडेंट्स शामिल हैं।
एमबीए में आवेदन के लिए 30 तक मौका :
एआईसीटीई से मान्य एमबीए पाठ्यक्रम में आवेदन की तारीख आगे बढ़ा दी गई है। उम्मीदवार अब 30 सितंबर तक आवेदन कर सकते हैं। इग्नू ने इसके लिए निर्देश जारी किया है जिसमें बताया गया है कि आधिकारिक लिंक के माध्यम से आवेदन किया जा सकता है। यह एमबीए पाठ्यक्रम दो वर्षीय और अधिकतम 4 वर्षीय है। यह कार्यक्रम एमबीए का प्रमुख कार्यक्रम है और इस बार शिक्षा क्षेत्र के बदलते परिदृश्य की मांगों को पूरा करने के लिए पूरी तरह से पुनर्गठित किया गया है। जानकारों के अनुसार भारत और चयनित विदेशी देशों के उम्मीदवार एमबीए प्रोग्राम के लिए आवेदन करने के पात्र है। यूजी की डिग्री में कम से कम 50 फीसदी अंक प्राप्त करने वाले सामान्य वर्ग से संबंधित स्टूडेंट्स आवेदन कर सकते हैं। आरक्षित श्रेणी के तहत आवेदन करने वालों के लिए यूजी की डिग्री में कम से कम 45 फीसदी अंक प्राप्त करने चाहिए। बैंकिंग व वित्त में एमबीए के लिए आवेदन करते समय, उम्मीदवारों को बैंकिंग या वित्तीय सेवा क्षेत्र में कम से कम दो साल का कार्य अनुभव होना चाहिए।
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