भारत-संयुक्त राष्ट्र वैश्विक शिखर सम्मेलन में विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर का संबोधन
हाइलाइट्स :
भारत-संयुक्त राष्ट्र वैश्विक शिखर सम्मेलन में विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर
एस.जयशंकर ने भारत की जी-20 अध्यक्षता को चुनौतीपूर्ण करार दिया
जी 20 का एक महत्वपूर्ण परिणाम अफ़्रीकी संघ की सदस्यता थी- जयशंकर
दिल्ली, भारत। भारत-संयुक्त राष्ट्र वैश्विक शिखर सम्मेलन को विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने संबोधित किया और संबोधन में कहीं ये बातें।
भारत-संयुक्त राष्ट्र वैश्विक शिखर सम्मेलन में विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने कहा, "नई दिल्ली जी 20 शिखर सम्मेलन के कुछ ही सप्ताह बाद हमारी मुलाकात हुई। एक शिखर सम्मेलन जो एक पृथ्वी, एक परिवार, एक विश्व की थीम पर था। यह एक चुनौतीपूर्ण शिखर सम्मेलन था, एक चुनौतीपूर्ण अध्यक्षता थी क्योंकि हम बहुत तीव्र पूर्व-पश्चिम ध्रुवीकरण और बहुत गहरे उत्तर-दक्षिण विभाजन का सामना कर रहे थे। लेकिन जी 20 के अध्यक्ष के रूप में हम यह सुनिश्चित करने के लिए बहुत दृढ़ थे कि, यह संगठन अपने मूल एजेंडे पर वापस आने में सक्षम था जो वैश्विक वृद्धि और विकास का था।"
हालांकि हम इस वर्ष के अंत तक जी 20 अध्यक्ष हैं, जी 20 की अध्यक्षता से पहले और निश्चित रूप से उसके बाद, हम एक भागीदार, एक योगदानकर्ता, एक सहयोगी बने रहेंगे, शायद दूसरों के लिए एक प्रेरणा होंगे कि कैसे विकासात्मक चुनौतियां संबोधित की जाएं। मेरा मानना है कि जी 20 का एक महत्वपूर्ण परिणाम अफ़्रीकी संघ की सदस्यता थी।
विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर
विदेश मंत्री जयशंकर ने जी-20 शिखर सम्मेलन में अफ्रीकी संघ को समूह में शामिल होने पर महत्वपूर्ण कदम बताते हुए आगे यह भी कहा कि, इस समूह में अफ्रीकी संघ की सदस्यता महत्वपूर्ण परिणाम थी। उन्होंने आगे कहा कि हम इस वर्ष के अंत तक जी-20 के अध्यक्ष हैं। हालांकि, इसके बाद भी हम निश्चित रूप से एक भागीदार, एक योगदानकर्ता, एक सहयोगी बने रहेंगे और दूसरों के लिए एक प्रेरणा बनेंगे कि किस तरह से विकासात्मक चुनौतियों को संबोधित किया जाए।
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