NMML नाम हुआ PMML
NMML नाम हुआ PMML Raj Express

NMML नाम हुआ PMML: म्यूजियम से 'नेहरू' का नाम हटाने पर भड़के कांग्रेस के नेता, जानें किसने क्‍या कहा...

नेहरू मेमोरियल संग्रहालय और पुस्तकालय (NMML) का नाम प्रधान मंत्री संग्रहालय और पुस्तकालय (PMML) सोसायटी किया, जिस पर विपक्ष के कई नेताओं ने टिप्‍पणी दी है...
Published on
  • नेहरू मेमोरियल संग्रहालय और पुस्तकालय (NMML) का नाम बदला

  • अब NMML का नाम प्रधानमंत्री संग्रहालय और पुस्तकालय (PMML) रखा

  • मेमोरियल संग्रहालय और लाइब्रेरी से 'नेहरू' का नाम हटाने पर बवाल

  • कांग्रेस नेताओं की आई टिप्‍पणी

दिल्ली, भारत। केंद्र की मोदी सरकार के कार्यकाल में कई जगहों के नाम ने परिवर्तन किया गया है। इसी कड़ी में अब 14 अगस्त को नेहरू मेमोरियल संग्रहालय और पुस्तकालय (NMML) का आधिकारिक तौर पर नाम भी बदल दिया गया है। इस दौरान नेहरू नाम हटाकर प्रधान मंत्री कर दिया गया। ऐसे में 'नेहरू' का नाम हटाएं जानें पर राजनीति बवाल शुरू हो गया है।

दरअसल, अब नेहरू मेमोरियल संग्रहालय और पुस्तकालय (NMML) का नाम बदलकर आधिकारिक तौर पर प्रधान मंत्री संग्रहालय और पुस्तकालय (PMML) सोसायटी किया गया है, जिस पर बयानबाजी का दौर शुरू हो गया है और इस मामले पर विपक्ष की प्रमुख कांग्रेस पार्टी के कई नेताओं ने टिप्‍पणी दी है।

यह अफ़सोस की बात है कि नौबत यहां तक आ गई। मुझे लगता है कि सभी प्रधानमंत्रियों को समायोजित करने के लिए इमारत का विस्तार करने का विचार एक अच्छा विचार है लेकिन इस प्रक्रिया में अंतरिम सरकार का नेतृत्व करने वाले पहले प्रधानमंत्री जो स्वतंत्रता के बाद प्रधानमंत्री रहे, उनका हटाना एक छोटी बात है। वे अब तक सबसे लंबे समय तक सेवा देने वाले पीएम हैं। आप इसे नेहरू मेमोरियल प्राइम मिनिस्टर्स म्यूजियम कहना जारी रख सकते थे। यह तुच्छता दुर्भाग्यपूर्ण है और यह हमारे अपने ऐतिहासिक अतीत के प्रति एक निश्चित कड़वाहट को दर्शाता है।

कांग्रेस सांसद व नेता शशि थरूर

नाम बदलना अब रोजमर्रा की बात हो गई है। मेरी राय में राजनीति में बदलाव के हिसाब से नाम नहीं बदलने चाहिए। देश में कुछ नई चीज बनती है तो उसको नाम दें। मुझे नहीं लगता कि संस्थानों के नाम बदलने को लेकर लोगों में कोई सराहना है।

कांग्रेस के नेता अशोक चव्हाण

आज से एक प्रतिष्ठित संस्थान को नया नाम मिला। विश्व प्रसिद्ध नेहरू मेमोरियल संग्रहालय और पुस्तकालय (एनएमएमएल), पीएमएमएल-प्रधानमंत्री स्मारक संग्रहालय और पुस्तकालय बन गया है। पीएम मोदी के पास भय, जटिलताओं और असुरक्षाओं का एक बड़ा बंडल है, खासकर जब बात हमारे पहले और सबसे लंबे समय तक सेवा करने वाले प्रधानमंत्री की आती है। उनका एकमात्र एजेंडा नेहरू और नेहरूवादी विरासत को नकारना, विकृत करना, बदनाम करना और नष्ट करना है। उन्होंने N को मिटाकर उसकी जगह P डाल दिया है.... लगातार हमले के बावजूद, जवाहरलाल नेहरू की विरासत दुनिया के सामने जीवित रहेगी और वह आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करते रहेंगे।

कांग्रेस महासचिव संचार प्रभारी जयराम रमेश

नेहरू जी ने स्वतंत्रता आंदोलन में बड़ा योगदान दिया और आज़ादी दिलाने में मदद की। जिस व्यक्ति ने इस देश को आज़ादी दिलाई उस व्यक्ति के नाम पर रहे नेहरू मेमोरियल म्यूजियम और लाइब्रेरी का नाम बदलना देश के लिए अपमानजनक है। जवाहरलाल नेहरू ने इतनी लंबी लकीर खींच दी है कि उन्हें आपकी दया की ज़रूरत नहीं है। उनका नाम अमर है।

कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी

तो वहीं, केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि, ये देश सबका है और ये देश किसी व्यक्ति से नहीं बल्कि व्यवस्था और संस्था से है। यह लोकतंत्र है...प्रधानमंत्री एक व्यक्ति नहीं बल्कि एक संस्था है इसलिए संग्रहालय उन सभी प्रधानमंत्रियों को समर्पित किया गया है जिन्होंने इस देश की सेवा की।

ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।

logo
Raj Express | Top Hindi News, Trending, Latest Viral News, Breaking News
www.rajexpress.com