इंदौर, मध्यप्रदेश। गोलीकांड में दो और फरार आरोपी रितेश करोतिया एवं चिराग ठाकुर को पुलिस ने बायपास से गिरफ्तार किया है। वह शहर से फरार होने की कोशिश कर रहे थे इसी दौरान पुलिस को सूचना मिली और उन्हें घेराबंदी कर बंदी बना लिया गया। दूसरी ओर पुलिस ने सतीश भाऊ की संपंत्ति का पता लगाने के लिए कार्रवाई शुरु कर दी है। पुलिस का गुंडों पर शिकंजे का अभियान भी जारी है। सोमवार को भी पुलिस ने कई इलाकों में सरप्राइज चैकिंग कर गुंडे बदमाशों को सलाखों के पीछे किया।
सूत्रों के मुताबिक विजयनगर में शराब माफियाओं के बीच हुए गोलीकांड के दौरान शराब कारोबारी अर्जुन ठाकुर को गोली लगी थी। उस मामले में पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज एवं पड़ताल के बाद एक दर्जन से ज्यादा आरोपियों के खिलाफ केस दर्ज किए हैं। इस मामले में सतीश भाऊ एवं हेमू ठाकुर सहित पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था। सोमवार को रीतेश और चिराग को भी बंदी बना लिया गया है। पुलिस के मुताबिक सतीश भाऊ के शूटर मोनू, सुजीत, प्रमोद उर्फ पप्पू, गोविंद गहलोत और सत्यनारायण लूनिया से अलग अलग टीमें पूछताछ कर रही हैं। गोविंद, पप्पू और मोनू वारदात के दौरान सिंडिकेट आफिस में थे,लूनिया ने सांवेर रोड पर सतीश भाऊ को पैसे दिए थे। जब्त डीवीआर की पड़ताल भी जारी है। चिंटू ठाकुर और सतीश भाऊ 28 जुलाई तक रिमांड पर हैं। पुलिस ने दोनों बदमाशों के रिश्तेदार, साथी, पार्टनर आदि की कुंडली खंगाल ली है। इनसे जुड़े लोगों के घरों की तलाशी भी ली गई है।
सतीश भाऊ के पास है कितनी संपत्ति..?
भाऊ के फ्लैट से पुलिस को मुक्के मारने का पंच, फर्जी प्रेस कार्ड, बैंक पासबुक सहित कुछ दस्तावेज मिले हैं। चिंटू और हेमू के रिश्तेदारों की कुंडली भी खंगाली जा रही है। फरार हेमू की तलाश के लिए उसके मोबाइल को सर्विलांस पर डाल दिया गया है। सतीश भाऊ का नाम अपराध में उस समय चलता था, जब 2000 में विष्णु उस्ताद की हत्या की थी। भाऊ के साथ इंदौर में तीन बड़े गैंगस्टर हैं, जिनमें शाकिर चाचा और युवराज उस्ताद का नाम है। सतीश भाऊ के विष्णु उस्ताद हत्याकांड में नाम आने के बाद से ही युवराज उस्ताद और सतीश भाऊ के बीच रंजिश चली आ रही है। दूसरी ओर गोलीकांड और अहातों के संचालन में सतीश भाऊ के तार जुडऩे के बाद पुलिस अब सतीश भाऊ की संपंत्ति भी खोज रही है। बीस साल पहले से लेकर आज तक उसकी संपत्ति कहां-कहां है इस की पड़ताल की जा रही है। पहले वो वल्लभ नगर में रहता था, जहां अभी मल्टी बन रही है। वो मल्टी कौन बना रहा है, किसका पैसा लग रहा है,क्या सतीश भाऊ का भी इस मल्टी से जुड़ाव है ये भी पता लगाया जा रहा है। महाराष्ट्र में भी कई जगह संपत्ति होने का पता चला है। भाऊ की कुंडली भोपाल भेजी जाएगी और कब्जे मिले तो उन्हें ढहाया जाएगा।
फरार होने की फिराक में थे रीतेश और चिराग :
गोलीकांड के फरार आरोपियों की तलाश में जुटी पुलिस ने मुखबिरों का जाल भी फैला रखा है। पुलिस को मुखबिर से टिप मिली कि सताश भाऊ के दो शूटर रीतेश करोतिया और चिंराग ठाकुर शहर से फरार होने वाले हैं। वे बायपास से गुजरेंगे। इस सूचना के बाद पुलिस ने घेराबंदी कर इन दोनों को गिरफ्तार कर लिया। माना जा रहा है कि इनसे भी इस गोलीकांड और अन्य अपराधों के बारे में काफी महत्वपूर्ण जानकारी मिल सकती है।
पुलिस की गुंडों पर कार्रवाई जारी :
विशेष अभियान के तहत पुलिस की गुंडो के खिलाफ कार्रवाई जारी है। सियागंज में खड़ी कराई के मामले में दर्ज कई मामले के आरोपी नरेंद्र वर्मा पर पुलिस ने रासुका की कार्रवाई कर दी है। इसके साथ ही शहर के कई थाना क्षेत्रों में गुंडों पर कार्रवाई जारी है। पुलिस ने देर रात तक सरप्राइज चैकिंग कर गुंडे बदमाशों के ठियों पर छापे मारे। समाचार लिखे जाने तक 90 से ज्यादा बदमाशों को गिरफ्तार कर लिया गया था। कार्रवाई निरंतर जारी है।
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