PM Modi and Pawan Kheda
PM Modi and Pawan KhedaRaj Express

जो राफेल में हुआ, वही प्रीडेटर ड्रोन्स की खरीद में हो रहा, चौगुनी कीमत पर जनरल एटॉमिक्स से की जा रही है डील

कांग्रेस ने अमेरिका से प्रीडेटर ड्रोन की खरीद पर फिर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर हमला बोला है।
Published on

राज एक्सप्रेस । कांग्रेस ने अमेरिका से प्रीडेटर ड्रोन की खरीद पर फिर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर हमला बोला है। बुधवार को नई दिल्ली में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में कांग्रेस के मीडिया सेल के इंचार्ज प्रचार पवन खेड़ा ने ड्रोन की कीमत को बहुत अधिक बताते हुए इसे कमेटी ऑन सिक्योरिटी (सीसीएस) की बैठक के बिना डील पास किए जाने पर सवाल उठाए हैं। कांग्रेस नेता ने कहा जो भ्रष्टाचार राफेल डील में किया गया था, वही प्रीडेटर ड्रोन की खरीद में दोहराया जा रहा है। उन्होंने आरोप लगाया प्रीडेटर ड्रोन को दुनिया के बाकी देश चार गुना कम कीमत पर खरीद रहे हैं, लेकिन केंद्र सरकार इस तथ्य की अनदेखी करते हुए उसके लिए चार गुना अधिक कीमत अदा करने जा रही है। उन्होंने सवाल किया इसके पीछे आखिर कौन की गणित छिपी हुई है। इस रक्षा सौदे को 15 जून को मंजूरी दी गई है। 

3 अरब अमेरिकी डॉलर में भारत खरीदेगा 31 प्रीडेटर ड्रोन

कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने कहा राफेल सौदे में जो हुआ, वह अमेरिका के साथ प्रीडेटर ड्रोन सौदे में एक फिर से दोहराया जा रहा है। आश्चर्य की बात है, कोई इस पर बात नहीं कर रहा है। दूसरे देश उन्हीं ड्रोनों को चार गुना से भी कम कीमत पर खरीद रहे हैं। भारत 31 प्रीडेटर ड्रोन 3 अरब अमेरिकी डॉलर यानी 25,000 करोड़ रुपये में खरीद रहा है। हम 880 करोड़ रुपये में एक ड्रोन खरीद रहे हैं। यह ड्रोन इससे चार गुना कम कीमतों पर दूसरे देशों को बेचा गया है।

आखिर कहां गया मेक इन इंडिया अभियान

मोदी सरकार की अतिमहत्वाकांक्षी 'मेक इन इंडिया' अभियान और दूसरे देश से ड्रोन की खरीद पर सवाल उठाते हुए खेड़ा ने कहा कहां गया मेक इन इंडिया? आपने रुस्तम और घातक जैसे ड्रोन के विकास के लिए रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) को 1786 करोड़ रुपये मंजूर किए थे फिर आपने ड्रोन खरीदने के लिए अमेरिका को 25,000 करोड़ रुपये क्यों दिए? पवन खेड़ा ने इस सौदे को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए ड्रोन को 'पुरानी तकनीक' और अमेरिका का 'वेस्ट मैटेरियल' करार दिया। पवन खेड़ा ने कहा जब हम किसी बेकार चीज़ को बेचते हैं, तो उन्हें मूल से अधिक कीमत पर कैसे बेचा जा सकता है? क्या इस ड्रोन की खरीद में कोई चुनावी बांड या पेगासस की कम्प्लीमेंट्री डील हुई है? क्य़ा केंद्र सरकार इसका जवाब देगी।

हम जानते हैं किसके हैं जनरल एटॉमिक्स से निकट संबंध

इस डील के तहत कुल 31 ड्रोन (16 स्काई गार्डियन और 15 सी गार्डियन ड्रोन) की खरीद शामिल हैं, जो अमेरिकी ऊर्जा और डिफेंस कॉरपोरेशन जनरल एटॉमिक्स द्वारा बनाए गए हैं। मोदी सरकार के साथ अमेरिकी कंपनी के करीबी संबंधों पर सवाल उठाते हुए पवन खेड़ा ने कहा हम जानते हैं कि मोदी सरकार में किस शख्स के जनरल एटॉमिक्स के सीईओ के साथ घनिष्ठ संबंध हैं और सीईओ ने सरकार के इस महत्वपूर्ण व्यक्ति के साथ कितनी बैठकें कीं? पवन खेड़ा ने सरकार में एक व्यक्ति पर निशाना साधते हुए उन्हें 'ड्रोनाचार्य' कहा।

जुलाई से शुरू होगी ड्रोन की आपूर्ति की शुरुआत

 बता दें कि 31 हथियारयुक्त ड्रोन एमक्यू-9बी रीपर ड्रोन की औपचारिक अधिग्रहण प्रक्रिया जुलाई की शुरुआत में होगी। इन्हें प्रीडेटर-बी ड्रोन भी कहा जाता है। इससे पहले रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में बताया था कि इस रक्षा डील की कीमत और अन्य नियम व शर्तें अभी तय नहीं हुई हैं और उसे अंतिम रूप दिया जाना अभी बाकी है। ड्रोन की खरीद की पूरी प्रक्रिया फिलहाल बातचीत के के स्तर पर ही है।

ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।

logo
Raj Express | Top Hindi News, Trending, Latest Viral News, Breaking News
www.rajexpress.com