CCI करेगा Google Pay की भुगतान पॉलिसी की जांच
CCI करेगा Google Pay की भुगतान पॉलिसी की जांचRE

CCI करेगा Google Pay की भुगतान पॉलिसी की जांच, Google पर लगा करोड़ों का जुर्माना

Google Pay अपनी भुगतान पॉलिसी को लेकर इन दिनों चर्चा में है। वहीं, अब खबर है कि, प्रतिस्पर्धा आयोग 'Google Pay की भुगतान पॉलिसी' (GPay Payment Policy) की जांच करेगा।
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राज एक्सप्रेस। आज ऑनलाइन पेमेंट और मनी ट्रांफर करने के लिए बहुत सी एप्स (APPs) काफी लोकप्रिय हैं। इन्हीं में एक नाम Google Pay (GPay) का भी है। अगर आप भी GPay का इस्तेमाल करते हैं, तो आप को भी इससे जुड़ी खबर जान लेना चाहिए। पिछले सालों के दौरान Google Pay ने अपने यूजर्स से भुगतान करने पर कुछ चार्ज वसूलना शुरू किया था। वहीं, Google Pay अपनी भुगतान पॉलिसी को लेकर इन दिनों चर्चा में है। खबर यह है कि, प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) अब 'Google Pay की भुगतान पॉलिसी' (GPay Payment Policy) की जांच करेगा।

CCI करेगी GPay की जांच :

देश में कई ऐसे आयोग और एजेंसी हैं। जिनका काम किसी भी प्लेटफॉर्म की गहराई से जांच करने का होता है। इन्हीं में एक भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) है। इसका काम प्लेटफॉर्म की पॉलिसी की जांच करना है। वहीं, CCI अब Google एप द्वारा संचालित Google Pay (GPay) की भुगतान पॉलिसी की जांच करेगा। जिसके लिए आदेश जारी कर दिए गए हैं। CCI द्वारा जारी आदेश में Google से GPay के तहत तीसरे पक्ष (Third Parties) के माध्यम से होने वाले भुगतान की प्रोसेस को स्पष्ट करने के आदेश दिए गए है। बता दें, यह जांच डेटिंग एप Tinder के मालिक की शिकायत पर की जा रही है।

अनुरोध पर की जा रही जांच :

दरअसल, डेटिंग एप Tinder के मालिक मैच समूह और अलायंस ऑफ डिजिटल इंडिया फाउंडेशन ने Google की यूजर चॉइस बिलिंग (UCB) पॉलिसी को प्रतिस्पर्धा विरोधी और अनुचित बताया है। साथ ही CCI से इस मामले की जांच करने का अनुरोध भी किया है। इस अनुरोध के बाद CCI ने जांच के आदेश दिए हैं। इस मामले में CCI ने कहा है कि, 'इस मामले पर जांच होनी चाहिए। इसलिए एप डेवलपरों की शिकायत पर हमारी (CCI) तरफ से पिछले साल अक्टूबर में तीसरे पक्ष से भुगतान का विकल्प नहीं देने के मामले में Google पर 936 करोड़ रुपये का जुर्माना भी लगाया गया था।

Google को मिला चार सप्ताह का समय :

बताते चलें, CCI ने Google से UCB से पहले और बाद में इन-ऐप भुगतान पॉलिसी से जुड़े प्रावधानों को समझाने के लिए भी कहा है। जारी हुए आदेश में कहा गया है कि, 'Google को चार सप्ताह का समय दिया जाता है वह जल्द से जल्द जवाब दे।' हालांकि, Google की तरफ से पहले कहा जा चुका है कि, 'वह डेवलपर से सेवा शुल्क इसलिए वसूलता है, ताकि गूगल प्ले ऐप स्टोर और एंड्रॉइड मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम के जरिये उनके एप मुफ्त में मुहैया कराए जा सकें और उन्हें डेवलपर टूल और एनालिटिक्स सेवा दी जा सके।'

RBI ने दी थी जानकारी :

याद दिला दें, साल 2020 में भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने हाई कोर्ट को बताया कि, 'Google Pay एक थर्ड पार्टी ऐप प्रोवाइडर (TPAP) (तृतीय पक्ष ऐप प्रदाता) है। साथ ही यह ऐप किसी पेमेंट सिस्टम को संचालित नहीं करता है।' साथ ही RBI ने चीफ मजिस्टेट डीएन पटेल और जस्टिस प्रतीक जालान की पीठ को यह भी बताया था कि, Google Pay के संचालन से 2007 के भुगतान तथा निपटान प्रणाली कानून (Payment and Settlement Systems Act 2007) का उल्लंघन नहीं होता और Google Pay किसी पैमेंट सिस्टम का संचालन नहीं करता है और इसी के चलते ही Google Pay को नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) की अधिकृत भुगतान प्रणाली परिचालकों की लिस्ट में शामिल नहीं किया गया है।

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