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एक अप्रैल से यूपीआई से 2000 रुपए से अधिक के डिजिटल पेमेंट पर चुकाना होगा 1.1 फीसदी चार्ज

केंद्र सरकार ने डिजिटल ट्रांजैक्शन से कमाई करने की योजना बनाई है। 1 अप्रैल से आपको पीपीआई के जरिए यूपीआई ट्रांजैक्शन पर 1-1 फीसदी का चार्ज चुकाना पड़ेगा।
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राज एक्सप्रेस। केंद्र सरकार ने डिजिटल ट्रांजैक्शन से कमाई करने की योजना बनाई है। 1 अप्रैल से आपको पीपीआई के जरिए यूपीआई ट्रांजैक्शन पर 1.1 फीसदी का चार्ज चुकाना पड़ेगा। यूपीआई के जरिए 2000 रुपए से अधिक के पेमेंट के लिए आपको यह चार्ज चुकाना पड़ सकता है। नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) ने हाल में ही जारी एक सर्कुलर ने कहा है कि प्रीपेड पेमेंट इंस्ट्रूमेंट या पीपीआई के रूप में ऑनलाइन मर्चेंट, लार्ज मर्चेंट और स्मॉल ऑफलाइन मर्चेंट को 2000 रुपए से अधिक के भुगतान पर 1.1 फीसदी का इंटरचेंज चार्ज चुकाना पड़ेगा। नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने कहा है कि 1 अप्रैल से यह शुल्क लागू करने के बाद 30 सितंबर से पहले इसकी समीक्षा की जाएगी। नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ने अलग-अलग सेक्टर के लिए अलग-अलग इंटरचेंज फीस तय की है।

30 सितंबर से पहले की जाएगी इसकी समीक्षा

एनपीसीआई ने कहा है कि प्रीपेड पेमेंट इंस्ट्रूमेंट जारी करने वाली कंपनी को वॉलेट लोडिंग सर्विस के रूप में बैंक को 15 बेसिस प्वाइंट का शुल्क चुकाना होगा। अगर किसी वॉलेट में 2000 रुपए से अधिक लोड किया जाता है तो उस बैंक को यह सर्विस चार्ज चुकाना होगा। नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने यूपीआई पेमेंट के लिए एक सर्कुलर जारी किया है जिसमें 1 अप्रैल से यूपीआई से होने वाले मर्चेंट पेमेंट पर पीपीआई चार्ज लगाने की सिफारिश की गई है। अगर आप 2000 से अधिक का पेमेंट करते हैं तो इसके लिए 1.1 फ़ीसदी प्रीपेड पेमेंट इंस्ट्रुमेंट चार्ज लगाने का सुझाव दिया गया है। एनपीए के सर्कुलर के हिसाब से 1 अप्रैल से गूगल पे, फोन पे और पेटीएम जैसे डिजिटल मीडियम से अगर आप 2000 रुपए से ज्यादा का पेमेंट करेंगे, तो आपको इसके लिए जेब ढीली करनी पड़ेगी।

2000 रुपए से अधिक के होते हैं 70 फीसदी लेनदेन

भारत में करीब 70 फीसदी यूपीआई पी2एम लेनदेन 2000 रुपए से अधिक के होते हैं। ऐसे में इन पर 1.1 फीसदी का इंटरचेंज चार्ज लगाने की तैयारी की गई है। नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने कहा है कि 1 अप्रैल से यह शुल्क लागू करने के बाद 30 सितंबर से पहले इसकी समीक्षा की जाएगी। नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ने अलग-अलग सेक्टर के लिए अलग-अलग इंटरचेंज फीस तय की है। फार्मिंग और टेलीकॉम सेक्टर में यूपीआई पेमेंट के लिए सबसे कम इंटरचेंज फीस वसूली जाएगी। इंटरचेंज फीस मर्चेंट ट्रांजैक्शन या व्यापारियों को पेमेंट करने वाले यूजर को देना पड़ेगा। बैंक अकाउंट और पीपीआई वॉलेट के बीच पियर टू पियर या पियर टू पियर मर्चेंट में किसी तरह के ट्रांजैक्शन पर कोई शुल्क नहीं देना पड़ेगा।

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