राज एक्सप्रेस। आज बजाज ग्रुप (Bajaj Group) का नाम शायद ही कोई होगा जो नहीं जानता होगा। आज शनिवार को Bajaj Group के पूर्व चेयरमैन राहुल बजाज (Rahul Bajaj) के निधन की खबर सामने आई है। इस खबर से पूरा व्यापार जगत शोक में डूब गया है। उनका निधन 83 साल की उम्र में कैंसर जैसी गंभीर बीमारी के चलते हुआ है। व्यापार जगत में उनके नाम का लोहा माना जाता था, इसलिए उनके निधन से पूरे व्यापार जगत में शोक की लहर दौड़ गई है।
राहुल बजाज का निधन :
दरअसल, आज शनिवार 12 फरवरी को Bajaj Group के पूर्व चेयरमैन राहुल बजाज का निधन हो गया है। उन्होंने आज सुबह अंतिम सांस ली। वह एक बड़े बिजनेसमैन के साथ ही एक अच्छे इंसान भी थे। उन्हें पद्म भूषण पुरुस्कार से भी सम्मानित किया जा चुका है। बता दें, उन्होंने अपने पुणे स्थित घर पर ही अपनों के बीच अंतिम सास ली। उनके करियर की बात करें तो, उन्होंने 50 साल तक Bajaj Group की जिम्मेदारी बखूबी निभाई है। बताते चलें, जब राहुल बजाज ने Bajaj Group की बागडोर संभाली थी। उस समय भारत एक बंद अर्थव्यवस्था थी। हालांकि, वह काफी लंबे समय से कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से लड़ रहे थे। जिसके चलते ही उनका निधन हुआ है।
राहुल बजाज का परिचय :
राहुल बजाज एक राजस्थान के मारवाड़ी परिवार से आते थे। जिससे उनका राजस्थान में सीकर जिले के काशीकाबास से काफी गहरा कनेक्शन था। उनका जन्म 10 जून 1938 में बंगाल प्रेसीडेंसी में हुआ था। उन्होंने प्रारंभिक शिक्षा कैथेड्रल एंड जॉन कॉनन स्कूल से लेने के बाद दिल्ली विश्वविद्यालय के सेंट स्टीफेंस कॉलेज से अर्थशास्त्र (ऑनर्स) डिग्री हासिल की इसके बाद उन्होंने बंबई विश्वविद्यालय से कानून की डिग्री हासिल की थी। राहुल बजाज ने हार्वर्ड बिजनेस स्कूल से अपना MBA भी किया था। उन्होंने अपनी मेहनत और लगन से Bajaj Group को बुलंदियों की ऊंचाई तक पहुंचाया था। हालांकि, बजाज ग्रुप की नींव राहुल बजाज के दादा जमनालाल बजाज ने रखी गई थी। जिसे बाद में राहुल बजाज ने बहुत अच्छे से संभाला था।
राहुल बजाज ने खुद दिया था इस्तीफा :
बताते चलें, राहुल बजाज ने ने बढ़ती उम्र का हवाला देते हुए पिछले साल 29 अप्रैल 2021 को बजाज ऑटो के चेयरमैन पद से खुद से इस्तीफा दे दिया था। इस दौरान वह कैंसर जैसी बीमारी से भी लड़ रहे थे। जबकि, वह कंपनी में चेयरमैन पद 1972 से संभाल रहे थे। हालांकि, राहुल बजाज ने साल 1965 में Bajaj Group में अपनी जिम्मेदारी की शुरुआत की थी। इसके बाद उनकी मेहनत का ही नतीजा है कि, आज भी लोग Bajaj Group का नाम अच्छी तरह जानते हैं। बता दें, बजाज कंपनी का चेतक स्कूटर राहुल बजाज के नेतृत्व में ही अस्तित्व में आया था और देखते ही देखते दोपहिया वाहन श्रेणी में सबसे पसंदीदा स्कूटर भी बन गया था। इतना ही नहीं चेतक की लोकप्रियता कम समय में इतनी ज्यादा बढ़ गई थी कि, लोग Bajaj Group को भारत की धड़कन पुकारने लगे थे।
कई पुरस्कारों से सम्मानित :
राहुल बजाज को 2001 में भारत सरकार ने उद्योग एवं व्यापार क्षेत्र में पद्म भूषण से सम्मानित किया था।
राहुल बजाज को 'नाइट ऑफ द नेशनल ऑर्डर ऑफ द लीजन ऑफ ऑनर' नामक फ्रांस के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भी प्राप्त है।
उन्हें आईआईटी रुड़की सहित सात विश्वविद्यालयों द्वारा डॉक्ट्रेट की मानद उपाधि प्रदान की गई है।
राहुल बजाज ने उदारीकरण का विरोध किया था।
राज्य सभा के सदस्य भी रह चुके हैं।
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