दुबई। कोलकाता नाइट राइडर्स के खिलाफ एलिमिनेटर में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के हारने के बाद, उनके कप्तान के रूप में विराट कोहली के 11 सीजन का कार्यकाल सोमवार को समाप्त हो गया। इससे पहले उन्होंने यह भी घोषणा की थी कि वह आगामी विश्व कप के समापन के बाद भारतीय टीम की टी20 कप्तानी भी छोड़ देंगे। अपने फ़्रेंचाइजी के आधिकारिक यूट्यूब चैनल पर एक चैट में कोहली ने अपने फ़ैसले के पीछे के कारणों के बारे में बताया। डीविलियर्स ने रॉयल चैलेंजर्स टीम के अपने साथी (विराट) का बचाव करते हुए कहा कि क्यों किसी फ़ैन, टीममेट या टीम मैनेजमेंट की उम्मीदों से पहले संन्यास लेना एक स्वार्थी निर्णय नहीं है।
डिविलियर्स ने कहा मुझे लगता है कि एक कप्तान के रूप में विराट का प्रदर्शन अविश्वसनीय रहा है। उनके अधीन खेलना मेरे लिए सौभाग्य की बात है। मैं पिछले कुछ वर्षों से उनका प्रशंसक रहा हूं क्योंकि उन्होंने भारतीय टीम और आईपीएल में काफ़ी वर्षों से कई पदभार संभाले हैं और उसमें वह काफ़ी कारगर रहे हैं। उसके कारण मैं उनका प्रशंसक रहा हूं। मुझे लगता है कि उनका यह फ़ैसला उन्हें दबाव मुक्त कर सकता है।
उन्होंने कहा, ''आईपीएल में वह हमेशा क्रिकेट का लुत्फ़ उठाते हैं क्योंकि वह यहां बहुत सारे अंतर्राष्ट्रीय दोस्तों के साथ थोड़ा मजा कर सकते हैं। इसके बाद वह भारतीय टीम की कप्तानी करने के लिए जाते हैं जहां काफ़ी दबाव रहता है। पिछले कुछ वर्षों से यही हाल है। इससे उनकी क्षमता से इसका कोई लेना-देना नहीं है। हम सभी जानते हैं कि कप्तान के तौर पर वह हमारे लिए अविश्वसनीय रहे हैं। उन्होंने काफ़ी रन बनाए हैं। मैं उन्हें कप्तान के रूप में जाते हुए देखकर दुखी हूं। लेकिन मुझे उम्मीद है कि टीम में हमलोग कुछ और साल साथ रहेंगें और कई ट्रॉफ़ी जीतेंगे।
विराट ने कहा, मैंने 2019 में एबी से इसके बारे में बात की थी। यह कोई नई बात नहीं है, आईपीएल खेलने के साथ -साथ मैं हमेशा यह सोच रहा था कि कैसे एक कैलेंडर वर्ष के दौरान खुद के लिए एक शांतिपूर्ण वातावरण बनाया जाए। हमारे बीच इस बात को लेकर चर्चाएं हुईं और मैंने सोचा' ठीक है, मैं इसे एक और साल के लिए समय दिया जाए ताकि हम बेहतर तरीक़े से इसके बारे में विचार कर सके।"
डीविलियर्स ने विराट के फ़ैसले का बचाव करते हुए कहा, मैं पहले भी ऐसे परिस्थितियों में रहा हूं और मैं इसी कारणवश यह समझ सकता हूं कि वह (कोहली) क्या महसूस कर रहे हैं और वह क्या कर रहे हैं। इसलिए मेरी राय में कोहली के इस फ़ैसले को स्वार्थी कहना एक ग़लत धारणा है। कुछ खिलाड़ी ऐसे फ़ैसले लेते हैं जिससे उनका कार्यभार थोड़ा कम हो जाता है। लोग इसे स्वार्थी होने के रूप में देखते हैं लेकिन सच्चाई ठीक इसके विपरीत है। यह स्वार्थी होना नहीं है। उसके इस फ़ैसले के कारण वह खुद को एक बेहतर प्लेयर बना सकते हैं। मैं उसी स्थिति में था, मेरी भी काफ़ी आलोचना भी हुई थी।
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