लंदन। विश्व की नंबर चार की फुटबॉल टीम इंग्लैंड यहां बुधवार को वेम्बले स्टेडियम में दूसरे सेमीफाइनल में डेनमार्क को अतिरिक्त समय में 2-1 से हरा कर पहली बार यूईएफए यूरो 2020 के फाइनल में पहुंच गई है। वेम्बले स्टेडियम में ही 11 जुलाई होने वाले फाइनल में अब उसका मुकाबला एक बार के यूरो विजेता इटली से होगा।
इंग्लैंड और डेनमार्क के बीच कांटे का मुकाबला हुआ। मैच की शुरुआत से ही दोनों टीमों के खिलाड़ियों ने टीम को शुरुआती बढ़त दिलाने के लिए जी जान लगा दी और मैच के 30वें मिनट में डेनमार्क के मिकेल डैम्सगार्ड ने पेनल्टी को गोल में तब्दील किया और टीम को 1-0 से बढ़त दिलाई, लेकिन इंग्लैंड की टीम भी पीछे नहीं रही। इस बढ़त को बराबरी पर लाने के लिए टीम के खिलाड़ियों ने खून पसीना एक कर दिया, जिसका फल इंग्लैंड की टीम को 39वें मिनट में ही मिला, जब डेनमार्क के सेंटर बैक साइमन कजेर ने गेंद को खुद अपने ही गोलपोस्ट में डाल दिया। इसके साथ ही इंग्लैंड ने स्कोर 1-1 से बराबर कर दिया और पहला हाफ इसी स्कोर पर समाप्त हुआ।
इसके बाद दोनों टीमों ने फिर से बढ़त लेने और मैच पर कब्जा करने के मकसद से दूसरे हाफ का खेल शुरू किया, लेकिन दोनों ही टीमों के बीच कांटे की टक्कर की बदौलत दूसरा हाफ भी 1-1 से बराबरी पर समाप्त हुआ। फिर मैच रेफरी की ओर से अतिरिक्त समय दिया गया, जिसका इंग्लैंड ने बखूबी फायदा उठाया। कप्तान हैरी केन ने 104वें मिनट में पेनल्टी को गोल में तब्दील कर टीम को न केवल 2-1 से बढ़त दिलाई, बल्कि फाइनल में पहुंचाया।
उल्लेखनीय है कि इससे पहले इटली ने मंगलवार को वेम्बले स्टेडियम में पहले सेमीफाइनल में स्पेन को पेनल्टी शूटआउट में 4-2 से हरा कर फाइनल में प्रवेश किया था। इटली का यह चौथा यूरो चैंपियनशिप फाइनल है।
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