कई पैरेंट्स बेटियों से पीरियड के बारे में बात करने से बचते हैं।
बेटी से प्यूबर्टी के बारे में पूछें।
समझाते वक्त सिंपल शब्दों का इस्तेमाल करें।
पीरियड्स में उसे सुरक्षित रहना सिखाएं।
राज एक्सप्रेस। क्या आपकी बेटी भी 10 साल की हो गई है। यही सही वक्त है, जब आप उससे पीरियड़स के बारे में बात कर सकते हैं। क्योंकि 10 साल की उम्र के बाद लड़कियों में प्यूबर्टी की शुरुआत हो जाती है। ऐसे में अचानक पीरियड आने पर वे घबरा सकती हैं। लेकिन कई माता-पिता अपने बच्चों से इस बारे में बात करने से बचते हैं। हाल ही में हुई एक नई रिसर्च के मुताबिक कई लोग अपने बच्चों के साथ इस टॉपिक पर बात करने में असुविधा महसूस करते हैं। रिसर्च में 8 से 16 वर्ष की आयु के बच्चों के 1,000 माता-पिता को शामिल किया गया था। यह रिसर्च मेंस्ट्रुअल प्रोडक्ट मेकर ऑलवेज़ द्वारा की गई थी। रिसर्चर्स के अनुसार, यदि आप अपनी बेटी को आने वाले समय के लिए तैयार करते हैं तो वे इसे लेकर ना केवल कंफर्टेबल रहेंगी, बल्कि उनका कॉन्फिडेंस लेवल भी बरकरार रहेगा। अगर आपकी बेटी भी बड़ी हो रही है, तो यहां बताया गया है कि आप सिंपल भाषा में पीरियड़स के बारे में उसे कैसे बता सकते हैं।
सबसे पहले उससे पूछें कि क्या वह प्यूबर्टी के बारे में कुछ जानती है। अगर हां, तो ये भी पता करें कि अब तक उसे क्या पता है। उसकी किसी भी गलत जानकारी को सुधारें।
उसे घुमा फिराकर बताने के बजाय , सिंपल शब्दों में बताएं कि मेंस्ट्रुअल साइकिल महिलाओं के जीवन का जरूरी हिस्सा है। इससे पता चलता है कि कोई महिला प्रेग्नेंट हो सकती है या नहीं।
आप बेटी से अपने अनुभव शेयर कर सकती हैं कि आपके पीरियड़ कब शुरू हुआ। इससे वह काफी कंफर्टेबल फील करेगी।
अगर बेटी इस बारे में कोई सवाल करना चाहती है, तो उसे रोके नहीं। बल्कि सही जवाब दें। ताकि उसके मन में पीरियड्स के प्रति कोई गलत धारणा न बने।
मुमकिन है कि आपकी बेटी उसके दोस्तों के जरिए इस बारे में जानती होगी। ऐसे में उससे चीजें छिपाने के बजाय उसकी दोस्त बनकर उससे बात करें।
अगर आपकी बेटी इंट्रोवर्ट टाइप की है, तो हो सकता है कि वह आपसे इस बारे में बात न करना चाहे। ऐसे मामलों में उसे बुक्स या इंटरनेट के जरिए सही नॉलेज लेने के लिए कहें। आप चाहें, तो उसे ऐड के जरिए भी इस बारे में बता सकते हैं।
कई लड़कियां शुरू में पैड का इस्तेमाल नहीं कर पाती। इसलिए सबसे पहले उन्हें पैड या टैम्पोन का इस्तेमाल ठीक से करना सिखाना जरूरी है।
इन सबके साथ आपको उसे सुरक्षित रहना सिखाना होगा। उन्हें बताएं कि अगर पीरियड स्कूल में आएं, तो वह टीचर को बता सकती हैं। उन्हें बताएं कि बैग में पैड रखना चाहिए , ताकि स्कूल में दिक्कत ना आए।
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