भोपाल, मध्य प्रदेश। प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि नई शिक्षा नीति को ध्यान में रखकर निजी विश्वविद्यालयों द्वारा रोजगारोन्मुखी पाठ्यक्रमों को प्रोत्साहित किया जाए।
डॉ. यादव ने यह बात मंत्रालय में आत्म-निर्भर मध्यप्रदेश के अंतर्गत निजी विश्वविद्यालयों की समीक्षा बैठक में कही। उन्होंने उच्च शिक्षा के क्षेत्र में निजी क्षेत्र के निवेश को बढ़ावा देने के लिए प्रयास हों। विद्यार्थियों को रोजगार देकर आत्म-निर्भर मध्यप्रदेश के लिए योगदान करें। डॉ. यादव ने कहा कि किसान परिवार के विद्यार्थियों को प्रोत्साहित करने के लिए निजी विश्वविद्यालयों को कृषि एवं पशु चिकित्सा संबंधी पाठ्यक्रमों को शुरू करने के प्रयास करने चाहिए। बागवानी, डेयरी और मत्स्य-पालन जैसे पाठ्यक्रमों का भी विद्यार्थियों को लाभ देने का प्रयास किया जाए। डॉ. यादव ने कहा कि ऐसे क्षेत्रों में निजी विवि एवं महाविद्यालय खोलने के प्रयास किये जायें, जहाँ उनकी संख्या कम है। उन्होंने कहा कि निजी विश्वविद्यालय आत्म-निर्भर मध्यप्रदेश के लिये संभावनाएं तलाशें। उनकी कठिनाइयों का पूरा निराकरण करने का प्रयास किया जाएगा। बैठक में प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा अनुपम राजन, अपर आयुक्त उच्च शिक्षा चन्द्रशेखर वालिम्बे सहित निजी विश्वविद्यालयों के प्रतिनिधि उपस्थित थे।
डॉ. यादव ने कहा कि प्रत्येक विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय एक पिछड़े गाँव को गोद ले, जिससे उसका विकास हो सके। विश्वविद्यालय उद्योग जगत से सम्पर्क कर विद्यार्थियों के प्लेसमेंट करने की कार्यवाही करें। नई शिक्षा नीति के क्रियान्वयन पर पूरा ध्यान दें एवं शैक्षणिक संस्थानों को बेहतर बनाने की कोशिश करें। विश्वविद्यालयों में लंबित अनुकम्पा नियुक्ति के प्रकरणों का मानवीय संवेदनाओं के साथ समय-सीमा में निराकरण करें। सी.एम. हेल्पलाइन के लंबित प्रकरणों, महालेखाकार की लंबित ऑडिट आपत्तियों, विद्यार्थियों की शिकायतों आदि का निराकरण तत्परता से करें।
ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।