हाइलाइट्स :
अवैध शराब पर सख्ती से भी कमाई में हो रही कमी
छोटे व्यापारी चिंता में, शराब कारोबार से हाथ न धो बैठें
इंदौर, मध्यप्रदेश। अर्जुन ठाकुर गोलीकांड एवं जहरीली शराब कांड के बाद शराब कारोबारी मुसीबत में फंस गए। अवैध शराब पर सख्ती होने के कारण इस तरह की शराब शहर में नहीं आ पा रही है। दूसरी ओर कोरोना की दूसरी लहर में भी 50 दिन से ज्यादा दुकानें बंद रहने के कारण शराब कारोबारी वैसे ही परेशान हैं दूसरी ओर सिंडीकेट पर रमेशचंद राय का कब्जा होने का खतरा भी बढ़ने लगा है। शराब का ठेका लेने वाले छोटे व्यापारी इन दिनों बेहद तनाव में हैं। उन्हें इसी बात की चिंता सता रही है कि अब सिंडीकेट पर किसका कब्जा होगा। यदि राय का कब्जा हुआ तो उन्हें शराब के धंधे से हाथ धोना पड़ेगा। दूसरी ओर गोलीकांड के फरार आरोपी हेमू ठाकुर एवं अन्य का अभी तक सुराग नहीं मिला है। गिरफ्तार आरोपियों से भी पुलिस को कोई खास जानकारी नहीं मिल पाई।
उल्लेखनीय है कि 19 जुलाई की शाम सत्यसाईं चौराहा स्थित सिंडिकेट के दफ्तर में शराब ठेकेदारों की बैठक आयोजित की गई थी। गांधी नगर की शराब दुकान से अर्जुन ठाकुर के पिता स्व. वीरेंद्रसिंह ठाकुर के माला चढ़े फोटो को सड़क पर फैंकने के मामले में हेमू ठाकुर, चिंटू ठाकुर एवं अर्जुन ठाकुर के बीच विवाद हो गया था। इस बैठक में इस विवाद में राजीनामे को लेकर अर्जुन को पिंटू भाटिया ने ही फोन कर बुलवाया था। राजीनामे के पहले ही हेमू ठाकुर ने अर्जुन ठाकुर को गोली मार दी। गोली की आवाज से वहां सनसनी फैल गई। बैठक में उपस्थित लोग तितर-बितर हो गए। दफ्तर के आसपास लगने वाले आफिस भी बंद हो गए। दहशत ने वहां पर पैर पसार लिए। अर्जुन को तत्काल एक निजी हास्पिटल ले जाया गया। दूसरी ओर गोली कांड की सूचना मिलते ही अर्जुन ठाकुर के कई समर्थक सिंडीकेट दफ्तर के सामने एकत्र हो गए और पथराव करते हुए तोड़फोड़ शुरु कर दी। अस्पताल के बाहर भी अर्जुन के समर्थकों की काफी भीड़ एकत्र हो गई। पुलिस ने दोनों ही स्थानों पर पहुंचकर भीड़ को नियंत्रित किया एवं बल प्रयोग कर वहां से हटाया। इस मामले में अन्य आरोपियों के साथ ही सतीश भाऊ को भी आरोपी बनाया है। विजयनगर थाने में शराब ठेकेदार अर्जुन ठाकुर पर गोली चलाने में गिरफ्तार चिंटू ठाकुर, सतीश भाऊ, गोविंद,रितेश, मोनू उर्फ सुदीप, प्रमोद, चिराग पकड़े जा चुके हैं। दयाराम उर्फ छोटू और हेमू ठाकुर फरार है। पुलिस एके सिंह और पिंटू भाटिया की भूमिका की जांच कर रही है। केस में कुल 11 आरोपी हैं।
अहातों को लेकर भी चल रहा था विवाद :
छोटे कारोबारियों लिए सबसे बड़ी चिंता है कि बड़े शराब माफिया छोटे ठेकेदारों को दबाकर व्यापार पर कब्जा करना चाहते थे। शराब ठेकेदारों के सिंडिकेट के पीछे राजा रमेशचंद्र राय है। बताते हैं कि वह इंदौर में आ गया है और कई शराब की दुकानों पर गया है तथा कुछ लोगों से पूछताछ भी की है। पूर्व में सिंडिकेट ने जिले के सभी अहातों का संचालन आकाश चावला को 6 लाख रुपए प्रतिदिन के हिसाब से सौंपा था। चावला ने 3 करोड़ रुपए गैंगस्टर सतीश भाऊ के जरिये रमेशचंद्र राय को दिए थे। इनमें से 1 करोड़ रुपए भाऊ के रिश्तेदार मुकेश नामदेव और मनोज नामदेव को दिए थे। ये रुपए सिर्फ डील के थे। अहातों का किराया इसमें शामिल नहीं था। इसके बाद रमेश राय और आकाश चावला की ओर से कुख्यात गैंगस्टर सतीश भाऊ अहातों को संभालने लगा। चावला के अहातों का मनमाना किराया बढ़ाया और देने से इनकार करने वालों पर सतीश भाऊ के गुर्गें अहाते खाली करवाने का दबाव बनाने लगे। इसमें लालबाग शराब दुकान, सरवटे बस स्टैंड स्थित शराब दुकान, बिजलपुर शराब दुकान और निपानिया शराब दुकान के अहाते को लेकर विवाद चल रहा था।
राय की जांच कर रहा खुफिया तंत्र :
दूसरी ओर सिंडिकेट गोलीकांड में रमेशचंद्र राय की भूमिका का पता लगाने के लिए भी पुलिस ने खुफिया तंत्र को सक्रिय कर दिया है। राय इस कांड के बाद से ही चर्चाओं में है। उसके सतीश भाऊ से तार जुडऩे के कारण वह भी पुलिस के राडार पर आ गया है। राय के सक्रिय होने से सिंडिकेट के ठेकेदारों में सरगर्मी बढ़ गई है। मोनोपॉली के तहत काम करने वाला राय शराब ठेकेदार एके सिंह और पिंटू भाटिया के केस में उलझने का पूरा फायदा उठाने की तैयारी में है। इंदौर जिले का ठेका 980 करोड़ में गया था। सभी 32 पार्टनर अब चिंतित है कि विवाद के बाद शराब में लगाया जा रुपया किस तरह से निकलेगा। इसका पूरा फायदा रमेशचंद्र राय उठाकर सिंडिकेट पर एक तरफा कब्जा कर लेगा। अर्जुन ठाकुर ने गृहमंत्री को लिखकर पिंटू भाटिया और एके सिंह पर गंभीर आरोप लगाए हैं। अर्जुन ने गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा को पत्र लिखकर कहा था कि जब वह सिंडिकेट आफिस में बैठक करने पहुंचा तो करीब आधे घंटे बाद पिंटू भाटिया और एकेसिंह दाखिल हुए और कहा कि गोली मार दो। चिंटू और हेमू ने गोली चला दी। एक गोली उसके कमर के पास लगी। पुलिस सीसीटीवी फुटेज देखने के बाद इस मामले में जांच की बात कही थी। पुलिस का कहना है कि फुटेज मे इस तरह की कोई बात सामने नहीं आई है।
ताज़ा समाचार और रोचक जानकारियों के लिए आप हमारे राज एक्सप्रेस वाट्सऐप चैनल को सब्स्क्राइब कर सकते हैं। वाट्सऐप पर Raj Express के नाम से सर्च कर, सब्स्क्राइब करें।