राज एक्सप्रेस। हाल ही में बिहार के भागलपुर में गंगा नदी पर बन रहा फोरलेन पुल जमींदोज हो गया। यह पुल खगड़िया को भागलपुर से जोड़ने के लिए बनाया जा रहा था। 1700 करोड़ रुपए की लगत से तैयार किए जा रहे इस पुल के चार पिलर ढह गए, जिससे पुल का करीब 200 मीटर का हिस्सा पानी में समा गया। बताया जा रहा है कि पुल पर ड्यूटी के लिए तैनात दो गार्ड भी लापता हो गए हैं, जिनकी तलाश जारी है। मामले में मुख्यमंत्री नितीश कुमार ने घटना की जांच करने और दोषियों पर कार्रवाई का निर्देश दिया है। हालाँकि यह पहली बार नहीं है जब किसी पुल के गिरने की घटना सामने आई हो। इससे पहले भी देश में ऐसे कई हादसे हो चुके हैं। चलिए आपको बताते हैं इनके बारे में।
साल 2022 के दौरान गुजरात के मोरबी जिले में एक बड़ा पुल हादसा देखने को मिला था। पुल के अचानक टूटने से करीब 300 लोग डूब गए थे, मामले में जैसे ही प्रशासन को खबर लगी उन्होंने बचाव अभियान शुरू कर दिया। लेकिन बावजूद इसके 135 लोगों ने अपनी जान गंवा दी।
साल 2011 में दार्जिलिंग के बिजनबाडी में गोरखा जनमुक्ति मोर्चा की बैठक का आयोजन किया गया था। लेकिन इस दौरान भीड़ के बढ़ने से अचानक पुल गिर गया। जिसके चलते 32 लोगों की मौत हुई और 60 लोग घायल हुए थे।
इसी साल में अरुणाचल प्रदेश में कामेंग नदी पर बना फुट ओवर ब्रिज भी ढह गया था। इस हादसे में करीब 30 लोगों की जान गई जबकि अन्य घायल हुए थे। इस घटना में अधिकतर बच्चे शामिल थे।
साल 2016 के दौरान उत्तरी कोलकाता में एक अन्य पुल हादसा देखा गया था। इस दौरान भीड़ वाले इलाके का करीब 2.2 किलोमीटर लंबा विवेकानंद फ्लाईओवर गिर गया था। इस घटना में 26 लोगों के मारे जाने जबकि 60 से भी ज्यादा लोगों के घायल होने की खबर सामने आई थी।
साल 2019 में मुंबई के छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस रेलवे स्टेशन के समीप एक एक फुट ओवर ब्रिज गिर जाने से बड़ी घटना हुई थी। इस हादसे में 6 लोगों ने अपनी जान गंवा दी थी जबकि 30 से ज्यादा लोग घायल हुए थे।
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