राज एक्सप्रेस। जब से इस पूरी दुनिया में कोरोना वायरस का प्रकोप बढ़ा है, तब से ही दुनियाभर के अनेक देश कोरोना की दवाई और वैक्सीन तैयार करने में लगे हुए हैं। हालांकि, कई देशों ने कोरोना की वैक्सीन बनने का दावा किया था, लेकिन सभी देश उसका परीक्षण कर रहे हैं, परन्तु इन सब परीक्षणों के बीच रूस की सेचेनोव मेडिकल यूनिवर्सिटी ने कोरोना की वैक्सीन बनाने का दावा किया था। वहीं, अब छिड़ी हुई कोरोना की जंग के बीच अमेरिका से भी अच्छी खबर सामने आई है।
अमेरिका की कंपनी ने तैयार की कोरोना वैक्सीन :
दरअसल, अमेरिका की कंपनी मॉडर्ना (Moderna) ने भी कोरोना वायरस की वैक्सीन तैयार करने का दवा किया है। साथ ही उन्होंने बताया कि, उनके द्वारा तैयार की गई वैक्सीन अपने पहले ट्रायल में पूरी तरह से सफल हुई है। बता दें इस वैक्सीन से जुड़ी जानकारी न्यू इंग्लैंड जर्नल ऑफ मेडिसीन के एक अध्ययन में सामने आई है। इस उड्डयन में बताया गया है कि, इस वैक्सीन का पहला टेस्ट 45 स्वस्थ लोगों पर किया गया। इस टेस्ट के नतीजे बहुत ही अच्छे रहे। इस वैक्सीन के द्वारा इन सभी 45 लोगों की बॉडी में कोरोना से लड़ने के लिए एंटीबॉडी विकसित किया गया।
मॉडर्ना (Moderna) की वैक्सीन :
अमेरिकी कंपनी मॉडर्ना द्वारा तैयार की गई वैक्सीन की खासियत यह भी है कि, इससे किसी भी प्रकार का कोई साइड इफेक्ट होने की खबर सामने नहीं आई है। इसलिए, फिलहाल वैक्सीन के ट्रायल को सवाल ही नहीं उठता है। कंपनी के अनुसार यदि शुरुआती टेस्टिंग में अगर एंटीबॉडी बनती है तो इसे अमेरिका की बड़ी सफलता माना जाता है। हालांकि, अभी यह कहना भी सही नहीं होगा कि, यह वैक्सीन कोरोना वायरस के खत्म करने के लिए प्रभावी होगी। अभी इसके कई टेस्ट होने बाकि हैं।
टेस्ट के परीक्षण :
इस वैक्सीन के पहले टेस्ट में यह वैक्सीन 18 से 55 साल की उम्र के 45 लोगों को दी गई थी। हालांकि, इसमें कई बुजुर्ग भी शामिल थे। जिसके रिजल्ट अभी आने बाकि हैं। वहीं, मॉडर्ना कंपनी फिलहाल अब इस वैक्सीन के लेट स्टेज ट्रायल की तैयारी में हैं। खबरों की मानें तो, कंपनी यह ट्रायल 27 जुलाई के आसपास शुरू कर सकती हैं। मॉडर्ना ने भी बताया है कि, कंपनी इसका अगला ट्रायल अमेरिका के 87 स्टडी लोकेशन पर करेगी। यदि यह वैक्सीन अपने तीसरे चरण के ट्रायल के पास होती है तो, कंपनी इस वैक्सीन से जुड़ा कोई बड़ा ऐलान कर सकती है।
ट्रायल के दौरान लक्षण :
बता दें, इस वैक्सीन के ट्रायल के दौरान तीन डोज के बाद आधे लोगों को हल्की थकान, शरीर में दर्द और सिर दर्द हुआ। इसके अलावा लगभग 40 प्रतिशत लोगों ने वैक्सीन देने के बाद हल्का बुखार महसूस किया। इस वैक्सीन का ट्रायल वॉशिंगटन डीसी के सहित 30 राज्यों में किया जाएगा। अमेरिकी सरकार ने मॉडर्ना कंपनी को यह वैक्सीन निर्मित करने के लिए आधा मिलियन डॉलर की आर्थिक मदद भी मुहैया करवाई है।
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