राज एक्सप्रेस। देश में कोरोना के मामलों को बढ़ता देखते हुए लागू किए गए लॉकडाउन के चलते लगभग सभी कार्यालय बंद रहे थे। जिससे लगभग सभी सेक्टरों को भारी नुकसान उठाना पड़ा था। हालांकि, पिछले साल के दौरान से ही सभी बैंकों में रेग्युलर कार्य हो रहा था। इसके बाद भी भारत के सबसे बड़े सरकारी बैंक भारतीय स्टेट बैंक (SBI) का मुनाफा भी वित्त वर्ष 2022-2023 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) से काफी घटा था। हालांकि, दूसरी तिमाही में में SBI को जबरदस्त मुनाफा हुआ है। जो 'रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड' (RIL) से भी ज्यादा बताया जा रहा है। इस बारे में जानकारी SBI द्वारा जारी किए गए ताजा आंकड़ो से लगाया जा सकता है।
SBI ने जारी किये ताजा आंकड़े :
दरअसल, भारतीय स्टेट बैंक (SBI) द्वारा सोमवार को दूसरी तिमाही के आंकड़े जारी किए गए हैं। जिनके अनुसार, बैंक का फायदा कमाने के मामले में सबसे बड़ी कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (RIL) से भी ज्यादा रहा। SBI ने मुनाफे के मामले में RIL को भी पीछे छोड़ दिया है। क्योंकि SBI को जुलाई-सितंबर यानी दूसरी तिमाही में 14,752 करोड़ रूपये का मुनाफा हुआ है जबकि, RIL को इस दौरान 13,656 करोड़ रुपये का मुनाफा हुआ। वहीं, यदि SBI के एक साल पहले के मुनाफे की बात करें तो एक साल पहले की तुलना में इस साल कंपनी के मुनाफे में 74% की बढ़त दर्ज हुई है। यह मुनाफा बढ़कर रिकॉर्ड स्तर 13,256 करोड़ पर पहुंच गया है। हलांकि, RIL इसलिए इसलिए भी कम मुनाफा हुआ है क्योंकि,कंपनी को अप्रत्याशित कर के रूप में 4,039 करोड़ रुपये का भुगतान करना पड़ा।
SBI की आय :
SBI की कुल आय 1,14,782 करोड़ रुपये दर्ज हुई है, जबकि, बीते साल सामान अवधि में बैंक की आय 1,01,143 करोड़ रुपये थी। बता दें, छमाही की बात करें तो RIL का लाभ 31,611 करोड़ रुपये रहा है जबकि SBI का फायदा 22,077 करोड़ रुपये रहा। इसी तरह से आय के मामले में रिलायंस काफी आगे है। RIL की आय 253,497 करोड़ दर्ज हुई जबकि, SBI की आय 1,14,782 करोड़ रुपये दर्ज हुई है।
SBI के चेयरमैन का कहना :
SBI के चेयरमैन दिनेश खारा ने कहा कि, 'बैंक ने ट्रेजरी से ज्यादा मुनाफा कमाया है। शुद्ध आय और भी ज्यादा होगी। बैंक ने सरकारी प्रतिभूतियों में SBI की सभी बैंकों के लिए अनिवार्य सीमा 19 फीसदी की तुलना में 2.85 लाख करोड़ ज्यादा निवेश किया है। इसी से उसका मुनाफा बढ़ा है।'
SBI का NPA :
SBI के बुरे फंसे कर्ज या कहें NPA में दूसरी तिमाही में गिरावट दर्ज हुई है। जबकि, सकल NPA में भी 1.38% की गिरावट दर्ज हुई है और यह गिरकर 3.52% रह गया जबकि शुद्ध NPA 1.52% से घटकर 0.80% रह गया है। वहीं, यदि SBI के कुल कर्ज की बात करें तो यह 20% बढ़कर 30.35 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया है। वहीँ, बैंक का खुदरा कर्ज 10.74 लाख करोड़ रुपये रहा है। यह 18.84% बढ़ा है। SBI का खुदरा होम लोन 14.57% तेजी के साथ 5.94 लाख करोड़ रुपये से भी ऊपर पहुंच गया है। जबकि बैंक का कॉरपोरेट कर्ज 21.2% और SME कर्ज 13.24% बढ़ा है।
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