जल्द होने जा रहा फैशन स्टार्टअप 'Zilingo' का अंत Social Media
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लिक्विडेशन प्रॉसेस के बाद हो जाएगा फैशन स्टार्टअप 'Zilingo' का अंत

सिंगापुर स्थित फैशन स्टार्टअप Zilingo Pte अब बंद होने की कगार पर पहुँचता नज़र आ रहा है। जी हां, जल्द ही कंपनी के लिक्विडेशन होने की खबर सामने आई है।

Kavita Singh Rathore

राज एक्सप्रेस। कुछ कंपनियां अचानक ही मार्केट में आती हैं और बहुत कम समय में लोगों के दिल पर छा जाती है, लेकिन कई बार किन्ही हालातों के चलते उन्हें बंद करने की नौबत आ जाती है। ऐसा ही कुछ सिंगापुर स्थित फैशन स्टार्टअप Zilingo Pte के साथ होता नज़र आ रहा है। जी हां, जल्द ही कंपनी के लिक्विडेशन होने की खबर सामने आई है। बता दें, एक समय में काफी उचाईयों पर रहने वाली कंपनी Zilingo वित्तीय अनियमितताओं के चलते नुकसान में जाती गई और अब बंद होने की कगार पर पहुंच गई है।

बंद होने जा रहा फैशन स्टार्टअप Zilingo :

एक समय में सिंगापुर से तेजी से उभर कर सबसे हाई-प्रोफाइल स्टार्टअप्स में शामिल होने वाला सिंगापुर का फैशन स्टार्टअप Zilingo Pte इन दिनों काफी बुरे हालातों से गुजर रहा है। कंपनी के बोर्ड ने EY कॉरपोरेट सर्विसेज Pte को प्रोविजनल लिक्विडेटर नियुक्त कर दिया है। इस बारे में ब्लूमबर्ग ने एक रिपोर्ट जारी की है। इस रिपोर्ट की मानें तो, Zilingo के बोर्ड द्वारा अपने बड़े शेयरधारकों और क्रेडिटर्स को इस बारे में जानकारी दे दी गई है। बता दें, लिक्विडेशन की प्रॉसेस के बाद फैशन स्टार्टअप Zilingo का अंत हो जाएगा। बता दें, इस स्टार्टअप को लेकर अचानक ही विवाद उठा और इसके सर्वाइवल के लिए कंपनी ने महीनों तक लड़ाई की। इस लड़ाई ने दक्षिण पूर्व एशिया और भारत की टेक्नोलॉजी व स्टार्टअप इंडस्ट्रीज को बुरी तरह प्रभावित किया।

खराब रिश्तों को बताया जा रहा ब्रेकडाउन की वजह :

Zilingo धीरे-धीरे ब्रेकडाउन की तरफ आती गई और इसके ब्रेकडाउन की सबसे बड़ी वजह अंकिती बोस और उनके लॉन्ग टाइम सपोर्टर व Sequoia India के प्रमुख शैलेंद्र सिंह के बीच चल रहे खराब रिश्तों को बताया जा रहा है। वह दो साल तक सहयोगी रहे, लेकिन जैसे ही कंपनी पर वित्तीय दबाव बढ़ा वो अलग हो गए। इस प्रकार शैलेंद्र सिंह ने युवा संस्थापक अंकिती बोस के मैनेजमेंट स्किल्स में भरोसा खो दिया। इसके बाद अंकिती बोस का कहना यह था कि, 'शैलेंद्र सिंह ने उन्हें अपनी ही कंपनी से बाहर धकेल कर धोखा दिया है।'

Zilingo की शुरुआत से अंत तक की कहानी :

जानकारी के लिए बता दें, Zilingo की शुरुआत साल 2015 में सिंगापुर में अंकिती बोस और चीफ टेक्नोलॉजी एंड प्रॉडक्ट ऑफिसर ध्रुव कपूर द्वारा की गई थी। यह कंपनी अपैरल मर्चेंट्स और फैक्ट्रियों को टेक्नोलॉजी की आपूर्ति करने का काम करती थी। इस कंपनी की शुरुआत दक्षिण और दक्षिण पूर्व एशिया के छोटे व्यवसायों को अपना सामान ऑनलाइन बेचने में मदद करने के मकसद से की गई थी। साल 2018 में Zilingo ने छोटे विक्रेताओं को कार्यशील पूंजी प्रदान करने के लिए वित्तीय प्रौद्योगिकी फर्मों के साथ मिलकर काम करना शुरू कर दिया था। इसके बाद साल 2019 के फंडिंग राउंड के बाद Zilingo की वैल्युएशन 97 करोड़ डॉलर तक पहुंच गया था। इसके बाद कोरोना काल में कंपनी को नुकसान उठाना पड़ा था।

कंपनी में छंटनी भी हुई और इसके बाद कंपनी में भारत, इंडोनेशिया, श्रीलंका और बांग्लादेश जैसे देशों के मिलाकर भी 100 से कम कर्मचारी बचे रह गए थे। धीरे-धीरे करके कंपनी के हालात और भी ज्यादा ख़राब होते गए और अप्रैल 2022 में अंकिती बोस को अपने CEOपद से हटाना पड़ा। अंकिती बोस को 5 मई तक पहले सस्पेंड करने के बाद उन्हें टर्मिनेट कर दिया गया। इतना ही नहीं उन पर गलत काम करने का आरोप भी लगा, लेकिन उन्होंने संकट के दौरान गलत काम करने वाली बात से इनकार कर दिया।

अंकिती बोस का कहना :

31 साल की अंकिती बोस का कहना था कि, 'यह कंपनी में एक निवेशक के खिलाफ उनके द्वारा की गई उत्पीड़न की शिकायतों का भी नतीजा है। कुछ फैसलों और प्रैक्टिसेज के लिए मुझे दोषी ठहराया जा रहा है, जिनके बारे में वरिष्ठ प्रबंधकों और निदेशकों को अच्छी तरह से पता था।

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