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केंद्र ने 4600 रुपये प्रति टन किया पेट्रोलियम पर विंडफॉल टैक्स, डीजल के उत्पाद शुल्क में कटौती

इस वित्तवर्ष के आखिरी माह में केंद्र सरकार ने कच्चे तेल पर विंडफॉल टैक्स बढ़ा दिया है। सरकार ने विंडफाल टैक्स को बढ़ाकर 4600 रुपये प्रति टन कर दिया है।

Author : Aniruddh pratap singh

हाईलाइट्स

  • केंद्र सरकार ने पहली बार एक जुलाई, 2022 में विंडफॉल टैक्स लगाया था

  • डीजल पर लगने वाले उत्पाद शुल्क को 1.50 रु. लीटर से घटाकर शून्य किया

  • इसके साथ ही पेट्रोल और एटीएफ पर लेवी को शून्य पर बरकरार रखा गया

राज एक्सप्रेस। इस वित्तवर्ष के आखिरी माह में केंद्र सरकार ने कच्चे तेल पर विंडफॉल टैक्स बढ़ा दिया है। सरकार ने विंडफाल टैक्स को बढ़ाकर 4600 रुपये प्रति टन कर दिया है। पहले यह 3,300 रुपये प्रति टन की दर से लगाया जाता था। यह कर विशेष अतिरिक्त उत्पाद शुल्क (एसएईडी) के रूप में लगाया जाता है। इसके साथ ही डीजल पर लगने वाले उत्पाद शुल्क को 1.50 रुपये प्रति लीटर से घटाकर शून्य कर दिया है।

इसके साथ ही पेट्रोल और एटीएफ पर लेवी को शून्य पर बरकरार रखा है। नई दरें आज से ही लागू कर दी गई हैं। केंद्र सरकार ने डीजल के एसएईडी को 1.50 रुपये प्रति लीटर से घटाकर शून्य कर दिया गया है। जबकि, पेट्रोल और एटीएफ पर लेवी शून्य स्तर पर बरकरार रखी गई है। उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार ने पहली बार एक जुलाई, 2022 में विंडफॉल टैक्स लगाया था।

यह कर लगाने के साथ ही भारत भी उन देशों में शामिल हो गया है, जो ऊर्जा कंपनियों के असाधारण मुनाफे पर कर लगाते हैं। गौरतलब है कि केंद्र सरकार प्रत्येक 15 दिन में इसकी समीक्षा करती है। बता दें कि विंडफॉल टैक्स का घरेलू स्तर पर बिकने वाले पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर कोई असर नहीं पड़ता है। दरअसल, यह कर मुख्य रूप से निर्यात किए जाने वाले पेट्रोल-डीजल पर लगाया जाता है।

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